सीएम की राज्यपाल से मुलाकात के बाद गरमाई राजनीति, कैबिनेट बैठक पर टिकी सबकी निगाहें

चंडीगढ़। हरियाणा की राजनीति मुख्‍यमंत्री मनोहरलाल की राज्‍यपाल से बृहस्‍पतिवार रात मुलाकात के बाद गर्मा गई है। ऐसे में आज होने वाली कैबिनेट की बैठक पर सबकी नजर है। मुख्यमंत्री मनोहर लाल और राज्यपाल सत्‍यदेव नारायण आर्य के बीच करीब डेढ़ घंटे तक बातचीत हुई। इसके बाद राजनीतिक गलियारों में कयास लगाए जाने लगे कि शुक्रवार को विधानसभा भंग हो सकती है।

हरियाणा विधानसभा भंग करने की चर्चाओं के कारण सरगर्मी बढ़ी

देर रात खबर आई कि मुख्यमंत्री ने तीन नए सूचना आयुक्तों को शपथ दिलाने के लिए राज्यपाल का समय लेने को उनसे मुलाकात की है। इसके बावजूद चर्चाएं थमी नहीं और सभी की निगाह मंत्रिमंडल की बैठक पर टिक गई हैं। मनोहर कैबिनेट की चार दिन पहले ही बैठक हुई है, जिसमें तय कर लिया गया था कि अगली बैठक 8 मार्च को होगी। जानकारों का कहना है कि 9 मार्च को लोकसभा चुनाव का ऐलान संभव है।

राजनीतिक गलियारों में चर्चा चल रही है कि कैबिनेट बैठक में विधानसभा भंग करने का निर्णय लिया जा सकता है। दूसरी ओर, लेकिन विभिन्न बोर्ड एवं निगमों में चेयरमैनों की नियुक्ति के साथ ही कई सीनियर भाजपा नेताओं ने स्पष्ट किया कि लोकसभा और विधानसभा चुनाव एक साथ नहीं होंगे।

बृहस्‍पतिवार को रात को करीब साढ़े आठ बजे मुख्यमंत्री मनोहर लाल राज्यपाल सत्यदेव नारायण आर्य से मुलाकात करने राजभवन पहुंचे। मुख्यमंत्री करीब दस बजे तक राजभवन रहे। इस दौरान चर्चाओं का बाजार गरम रहा। कयास लगने लगे कि मुख्यमंत्री राज्यपाल को शुक्रवार को विधानसभा भंग करने के फैसले की सूचना देने गए, लेकिन मुख्यमंत्री के लौटते ही पता चला कि उन्होंने तीन नए राज्य सूचना आयुक्तों के शपथ ग्रहण समारोह के लिए राज्यपाल से अनुरोध किया है, जिसे राज्यपाल ने स्वीकार करते हुए राजभवन में शुक्रवार सुबह साढ़े दस बजे शपथ ग्रहण समारोह रख दिया।

सूत्रों के अनुसार राज्यपाल से मुलाकात करने से पहले मुख्यमंत्री ने अपनी कैबिनेट के कुछ मंत्रियों के साथ भी चर्चा की। भाजपा सूत्रों का कहना है कि राज्य में चर्चाएं भले ही कुछ भी चलती रहें, लेकिन कैबिनेट की बैठक में विधानसभा भंग करने का फैसला नहीं लिया जाएगा। सरकार के पास करीब एक दर्जन मसौदे हैं, जिन पर फैसले लिए जाएंगे।

मनोहर कैबिनेट की बैठक पर राजनीतिक दलों की निगाह

इस घटनाक्रम के बीच सभी राजनीतिक दलों के नेताओं की निगाहों हरियाणा मंत्रिमंडल की आज होने वाली बैठक पर टिकी हैं। राजनीतिक दलों को लग रहा कि प्रदेश की भाजपा सरकार कैबिनेट की बैठक में हरियाणा विधानसभा को भंग करने का फैसला ले सकती है, लेकिन सरकार के सूत्रों ने इस संभावना से इंकार किया है।

बताया जाता है कि हरियाणा कैबिनेट की बैठक में कई अहम फैसले लिए जाएंगे। इस बैठक के बाद शनिवार से सरकार और भाजपा संगठन दोनों फील्ड में उतर जाएंगे। बैठक में समाज कल्याण विभाग का नाम बदलकर अंत्योदय विभाग करने का प्रस्ताव रखा जाएगा, जिसे सर्वसम्मति से मंजूरी मिलने की संभावना है। कैबिनेट में औद्योगिक विकास के लिए लॉजिस्टिक, वेयरहाउसिंग और रिटेल पॉलिसी को मंजूरी दी जा सकती है।

जानकारी के अनुसार, बैठक में विभिन्न प्रकार के लोन एग्रीमेंट के लिए तय की गई स्टांप ड्यूटी को दो हजार रुपये से कम करने का निर्णय लिया जाएगा। सिरसा के थेड़ माउंड के ग्रामीणों के पुनर्वास का फैसला बैठक में हो सकता है। बैठक में हिसार से डेयरियों को बाहर करने के लिए नगर निगम हिसार को भूमि उपलब्ध करवाने का निर्णय होगा।

कैबिनेट की बैठक में हरियाणा की औद्योगिक लाइसेंसिंग पालिसी में बदलाव संभव है। कर्मचारियों को सातवें वेतन आयोग की सिफारिशों के अनुसार एचआरए दिए जाने का भी फैसला भी लिया जा सकता है। बैठक में हरियाणा इंटरप्राइजेज प्रमोशन पालिसी में बदलाव के लिए आर्डिनेंस जारी होगा। झज्जर जिला के औद्योगिक क्षेत्र सांखोल (बहादुरगढ़) में नॉदर्न इंडिया ग्लास इंडस्ट्रीज लिमिटेड द्वारा बेचे गए अवैध प्लॉटों को लीगत करने का फैसला कैबिनेट बैठक में लिया जा सकता है।

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