मैं मुर्दा नहीं, जिंदा हूं…रांची यूनिवर्सिटी ने मृत समझ रोक दी पेंशन…

मृत व्यक्ति को जिंदा बताना या जीवित को मृत बता देने की घटना अक्सर देखने को मिलती है. इस विषय पर फिल्में और डॉक्युमेंट्री भी आपने देखी होंगी. ताजा मामला झारखंड की राजधानी रांची का है. यहां रांची यूनिवर्सिटी ने अपने ही रिटायर शिक्षक को कागजों पर मृत मानकर उनकी पेंशन रोक दी.

वह व्यक्ति मृत नहीं है, अभी जिंदा है. इस बात का पता तब चला जब रिटायर टीचर यूनिवर्सिटी पहुंच गए. रांची यूनिवर्सिटी के इस रिटायर टीचर का नाम है डॉक्टर बृज किशोर सिंह है. डॉ. सिंह ने लोकल18 को बताया कि वे रांची के कांके स्थित एसएस मेमोरियल कॉलेज में फिजिक्स विभाग में कार्यरत थे. 15 साल पहले सेवानिवृत्त हो गए. तब से आज तक हर महीने की पहली तारीख को उनके बैंक खाते में पेंशन आती रही है. लेकिन इस महीने की 1 तारीख को जब मोबाइल पर पेंशन क्रेडिट होने का मैसेज नहीं आया तो डॉ. सिंह को संदेह हुआ.

नहीं आई पेंशन तो किया शिकायत
डॉ बृज किशोर सिंह ने बताया कि महीने की हर पहली तारीख को बैंक अकाउंट में पेंशन मिल जाया करते थे. लेकिन, इस बार पहली तारीख को पैसे नहीं आए तो मन में शंका हुई और शिकायत लेकर बैंक के पास गया. बैंक से पता चला की पेंशन अभी तक वीवी से नहीं आई है. इसलिए उनके खाते में पैसे नहीं गए है. उन्होंने आगे बताया कि फिर शिकायत लेकर में रांची वीवी मुख्यालय गया, तो पेंशन विभाग के कर्मियों ने अपनी गलती मानी और अपनी गलती सुधारने का आश्वासन भी दिया है. इस महीने का भी पैसा अगले महीने एक साथ ही भेज दिया जाएगा. आखिरकार, रांची यूनिवर्सिटी के आश्वासन के बाद यह मामला समाप्त हुआ है.

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