साल की सबसे बड़ी कारतूसों की खेप के साथ 2 लोग हुए गिरफ्तार

दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल ने दिल्ली एनसीआर में अवैध हथियारों की आपूर्ति करने वाले एक अंतरराज्यीय गिरोह का भंडाफोड़ किया है. गिरोह के पास से 1310 जिंदा कारतूस बरामद किए गए हैं, जो इस साल अब तक जब्त किया गया हथियारों की सबसे बड़ी खेप है.

साल की सबसे बड़ी कारतूसों की खेप के साथ 2 लोग हुए गिरफ्तारस्पेशल सेल ने 1310 जिंदा कारतूसों के साथ दो युवकों को गिरफ्तार किया है. दोनों ही युवक दिल्ली एनसीआर में हथियारों की सप्लाई किया करते थे.

गिरफ्तार किए गए तस्करों से पूछताछ के दौरान पता चला है कि बीते एक महीने में उन्होंने 2,000 से ज्यादा कारतूस बेचे. वे दिल्ली एनसीआर इलाके में बदमाशों को यह कारतूस बेचते थे.

दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल को जैसे ही अवैध हथियारों की इस खेप के बारे में खुफिया जानकारी मिली, उन्होंने वजीराबाद इलाके से पहले महिपाल नाम के एक शख्स को गिरफ्तार किया. गिरफ्तारी के दौरान महिपाल के पास से 360 जिंदा कारतूस बरामद किए गए. महिपाल से पूछताछ के बाद स्पेशल सेल ने अलीगढ़ से संदीप को गिरफ्तार किया और संदीप के पास से 950 जिंदा कारतूस बरामद किए गए.

दरअसल, संदीप के भाई की अलीगढ़ में गन शॉप है. संदीप अपने भाई की गन शॉप से कारतूस लाता था और महिपाल की मदद से दिल्ली एनसीआर के बदमाशों को 400 से 500 रुपये में बेचा करता था .

पुलिस के अनुसार, कारतूसों की यह खेप अगर न पकड़ी जाती तो दिल्ली एनसीआर में तबाही थी. डिब्बो में बंद 1310 से ज्यादा कारतूस दिल्ली एनसीआर के अलग-अलग गैंग्स को सप्लाई होने थे.

दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल की माने तो संदीप और महिपाल पिछले 1 महीने में दिल्ली एनसीआर में 2000 से भी ज्यादा कारतूस को बदमाशों तक पहुंचा चुके हैं.

पूछताछ में हथियार तस्करों ने कुबूल किया की दिल्ली एनसीआर के कई बदमाशों को वे कारतूसों की सप्लाई किया करते थे. दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल अब जांच कर रही है कि आखिरकार गन हाउस के कारतूसों को कैसे दोनों फर्जीवाड़ा कर गैंगस्टर्स को बेच रहे थे.

स्पेशल सेल ने दिल्ली एमसीआर के उन बदमाशों की भी पहचान कर ली है, जिन्होंने दोनों हथियार तस्करों से कारतूस खरीदे हैं. लिहाजा जल्द ही कुछ और लोग स्पेशल सेल की गिरफत आ सकते हैं.

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