नोटबंदी के बाद टैक्स नहीं भरने वाले पर आई भारी मुसीबत, आयकर विभाग ने उठाया ये बड़ा कदम

नोटबंदी के बाद इनकम टैक्स जमा नहीं करने वालों पर आयकर विभाग की कड़ी नजर है। केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड (सीबीडीटी) के चेयरमैन सुशील चंद्रा ने बुधवार को कहा कि विभाग ऐसे 80,000 मामलों की पड़ताल कर रहा है, जिन्होंने नोटिस भेजने के बाद भी टैक्स जमा नहीं कराया है। नोटबंदी के बाद टैक्स नहीं भरने वाले पर आई भारी मुसीबत, आयकर विभाग ने उठाया ये बड़ा कदम
प्रगति मैदान में हो रहे अंतरराष्ट्रीय व्यापार मेले में आयकर विभाग के स्टाल का उद्घाटन करते हुए चंद्रा ने कहा कि ऐसे 80 लाख लोगों की भी पहचान की गई है, जिन्होंने पिछले तीन साल लगातार रिटर्न दाखिल किया, लेकिन इस वर्ष अब तक टैक्स जमा नहीं किया है।

कई सालों बाद अप्रत्यक्ष करकी तुलना में प्रत्यक्ष कर बढ़ा : चंद्रा

चंद्रा ने कहा कि नोटबंदी से देश का कर आधार और प्रत्यक्ष कर से प्राप्त शुद्ध राजस्व बढ़ाने में मदद मिली है। अगर आप पिछले साल के आंकड़ों को देखें तो प्रत्यक्ष कर का योगदान 52 फीसदी और अप्रत्यक्ष कर का 42 फीसदी रहा है। यह कई वर्षों बाद हुआ है जब अप्रत्यक्ष की तुलना में प्रत्यक्ष कर बढ़ा है। 

यह पूछे जाने पर कि नोटबंदी से इसमें कैसे मदद मिली तो चंद्रा ने कहा कि नोटबंदी के बाद लोगों ने पैसा अकाउंट में जमा कराया। इससे हमें यह जानने में मदद मिली कि कितने लोगों ने रिटर्न भरे बिना कितना कैश जमा कराया। 

नोटबंदी के बाद तीन लाख लोगों को नोटिस भेजा

सीबीडीटी चेयरमैन ने बताया कि नोटबंदी के बाद टैक्स जमा नहीं कराने वाले करीब तीन लाख लोगों को नोटिस जारी किया गया था। ये वैधानिक नोटिस थे, जिसके बाद 2.25 लाख लोगों ने आईटी रिटर्न फाइल की। वहीं, 80 हजार ऐसे मामले हैं, जिनमें रिटर्न फाइल नहीं की गई। आयकर विभाग इनकी पड़ताल करने के साथ ही मूल्यांकन कर रहा है।   
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