देश भर में बहुत ही कम लोग जानते होगे फांसी की सजा को लेकर ये बड़ा नियम, जानकर कांप जाएगे अपक पैर
फांसी एक ऐसी सजा है जो बड़े अपराध के कारण मुजरिम को फांसी की सजा सुनाई जाती है। फांसी की सजा अचानक नहीं दी जाती इसके लिए कई प्रोसेस होती है यदि कोई व्यक्ति कोर्ट के फैसले से सहमत नहीं होता है तो राष्ट्रपति के पास दया याचिका लगाता है जब राष्ट्रपति उस अपराधी के सभी अपराधों पर गौर करता है और यदि राष्ट्रपति को लगता है कि उन्हें फांसी नहीं देनी चाहिए तो फांसी रुक जाती अन्यथा यदि राष्ट्रपति ने भी उस पर मोहर लगा देते हैं तो अपराधी को निश्चित ही फांसी होती है। लेकिन क्या आप यह जानते हैं कि फांसी सिर्फ सूर्योदय होने से पहले ही क्यों दी जाती है।
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फांसी देने का समय सुबह इसलिए मुकर्रर किया जाता है क्योंकि जेल नियमावली के तहत जेल के सभी कार्य सूर्योदय के बाद ही किए जाते हैं और फांसी के कारण जेल के बाकी कार्य प्रभावित न हों, इसलिए सुबह-सुबह कैदी को फांसी दे दी जाती है। इसकी एक वजह ये भी है कि फांसी से पहले और बाद में जेल अधिकारियों को बहुत सारी प्रक्रियाओं से गुजरना पड़ता है, जैसे मेडिकल टेस्ट, रजिस्टर में एंट्री, कई जगहों पर नोट्स भेजना इत्यादि। इसके बाद ही शव को परिवार वालों को सौंपा जाता है।