दर्दनाक हादसाः जहरीली गैस ने छीन ली 3 की जिंदगियां, 2 की हालत गंभीर

यूपी के उन्नाव जिले में शहर कोतवाली क्षेत्र के अकरमपुर औद्योगिक क्षेत्र स्थित गत्ता व तिरपाल बनाने वाली फैक्ट्री के टैंक की मोटर मरम्मत के दौरान तीन श्रमिकों की मौत हो गई। दो श्रमिकों की हालत गंभीर है। फैक्ट्री मालिक की सूचना पर पहुंची अग्निशमन विभाग की टीम ने मृत श्रमिकों को टैंक से बाहर निकाला। बीमार हुए दो श्रमिकों को आनन-फानन में जिला अस्पताल पहुंचाया गया। हादसे की सूचना से हड़कंप मच गया। डीएम व एसपी के साथ प्रशासनिक अमला मौके पर पहुंचा। डाक्टर कचरे की जहरीली गैस से हादसा होने की आशंका जता रहे हैं। पुलिस, पोस्टमार्टम रिपोर्ट में मौत की वजह स्पष्ट होने की बात कह रही है। मृतकों के परिजनों और फैक्ट्री मालिक के बीच मुआवजे पर बातचीत चल रही है।

शहर के पास अकरमपुर औद्योगिक क्षेत्र में स्थित फैक्ट्री दुर्गा इंटरनेशनल में दफ्ती और तिरपाल बनता है। फैक्ट्री परिसर में दस फीट गहरे दो टैंक बने हैं। एक में तिरपाल रंगने का केमिकल और दूसरे में कचरा जमा होता है। कचरा टैंक का गंदा पानी निकालने के लिए भीतर एक पंप लगा है। टैंक 14 फीट गहरा, 10 फीट लंबा व 8 फीट चौड़ा है। रविवार शाम को पंप का नोजल खराब हो गया था। गंदा पानी टैंक से न निकल पाने और बरसात के पानी से टैंक ओवरफ्लो होने से गंदा पानी केमिकल कलर टैंक में भरने लगा। सोमवार सुबह 11:30 बजे इलेक्ट्रिक पंप का नोजल ठीक करने के लिए फैक्ट्री मैकेनिक/श्रमिक शहर कोतवाली के रामबक्श खेड़ा गांव निवासी हरिराम (47) पुत्र हीरालाल और हरदोई जिले के माधौगंज थानाक्षेत्र के निभामऊ गांव निवासी अखिलेश (30) पुत्र रामचंद्र सीढ़ी से टैंक में उतरे।

गैस की दुर्गंध आने से चक्कर और उल्टी महसूस हुई तो उन्होंने आवाज दी। इस पर अन्य श्रमिकों ने दोनों को बाहर खींच लिया। इसके बाद शहर कोतवाली के सिंगरोसी मोहल्ला निवासी हारुन (20) पुत्र मुख्तार टैंक में उतरा। यह छटपटाते हुए बाहर निकलने का प्रयास करने लगा। सफल न होने पर मैनीखेड़ा गांव निवासी आशीष (24) पुत्र कमलेश टैंक में उतरा। उसकी भी हालत बिगड़ गई। दोनों को निकालने के लिए रामबक्श  खेड़ा निवासी श्रमिक भजन (46) पुत्र राजाराम टैंक में गया। वह उसी में गिर गया। फैक्ट्री मैनेजर नीरज व अन्य श्रमिकों ने पुलिस और फायर स्टेशन को सूचना दी। अग्निशमन केे जवानों ने तीनों को टैंक से बाहर निकाला। इन्हें आनन-फानन में जिला अस्पताल भेजा। जिला अस्पताल में डाक्टरों ने भजन,  हारुन और आशीष को मृत घोषित कर दिया। अखिलेश और हरिराम का इलाज शुरू किया।

सूचना पर सीओ सिटी स्वतंत्र सिंह, कोतवाली प्रभारी अरुण कुमार द्विवेदी और चीफ फायर अफसर सुरेंद्र सिंह भी जिला अस्पताल पहुंचे। मृतकों और बीमार हुए लोगों के परिजन भी जिला अस्पताल पहुंचे। तीन श्रमिकों की मौत और दो की हालत गंभीर होने से कोहराम मच गया। डीएम देवेंद्र कुमार पांडेय और एसपी हरीश कुमार जिला अस्पताल पहुंचे। अधिकारियों ने परिजनों को हर संभव मदद का आश्वासन दिया। डीएम और एसपी ने घटना स्थल का भी निरीक्षण किया। सीओ सिटी स्वतंत्र कुमार सिंह ने बताया कि तीनों श्रमिकों की मौत गैस के प्रभाव से हुई है। डाक्टर कचरे से मीथेन गैस निकलने की आशंका जता रहे हैं। तीनों शवों का सीएमओ लालता प्रसाद की मौजूदगी में डाक्टरों के पैनल से पोस्टमार्टम कराया जा रहा है। मृतकों के आश्रितों को आर्थिक मदद दिलाने के लिए फैक्ट्री प्रबंधन से वार्ता चल रही है।

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