कर्ज माफी को लेकर देशभर के किसानों का आज दिल्‍ली में प्रदर्शन

अपनी प्रस्तावित मांगों के लिए आज (शुक्रवार) देशभर के 68 किसान संगठनों के बैनर तले लाखों की संख्या में किसान राजधानी दिल्ली में प्रदर्शन करेंगे. हरियाणा, पंजाब, राजस्थान के किसान ट्रैक्टर-ट्रॉलियों से दिल्ली का घेराव करेंगे. इस प्रदर्शन में दक्षिण भारत व छत्तीसगढ़  के किसान भी अपने-अपने राज्‍यों में विरोध-प्रदर्शन करके शामिल होंगे. कयास लगाए जा रहे हैं कि किसान संगठन दिल्ली के पॉश इलाकों में अपना प्रदर्शन कर सकते हैं. किसानों के प्रदर्शन के लिए पहले से ही दिल्ली पुलिस ने तैयारी कर ली. 

कर्ज माफी को लेकर देशभर के किसानों का आज दिल्‍ली में प्रदर्शन

क्यों प्रदर्शन करेंगे किसान

68 किसान संगठनों की मांग है कि जितने भी राज्यों में किसानों पर कर्ज है उसे केंद्र और राज्य सरकार माफ करें. इसके साथ ही उनकी मांग हैं कि वर्ष 2006 केंद्र सरकार की ओर से एमएस स्वामीनाथन की जी रिपोर्ट आई थी, उसे लागू किया जाए, ताकि किसानों के आर्थिक हालात सुधर सके.

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ट्रैक्टर ट्रॉली के साथ हिरासत में किसान
शुक्रवार को दिल्ली में कूच करने से पहले गुरुवार को तय कार्यक्रम के अनुसार सभी किसान गन्नौर में अपनी ट्रैक्टर ट्रॉली के साथ इक्ट्ठा हुए थे. किसानों के इक्ट्ठा होने की जानकारी मिलते ही पुलिस ने उनसे बात करने की कोशिश की. अधिकारियों के समझाने के बाद भी किसान नेता और यूनियन के सदस्य नहीं माने तो पुलिस ने उन्हें हिरासत में लेकर ट्रैक्टर ट्रॉली को भी अपने कब्जे में ले लिया.

क्यों बना था स्वामीनाथन आयोग ?
बता दें कि वर्ष 2004 में केंद्र सरकार ने किसानों की आर्थिक हालात को बेहतर करने और अन्न की आपूर्ति को भरोसेमंद बनाने के लिए वर्ष 2004 में एमएस स्वामीनाथन की अध्यक्षता में नेशनल कमीशन ऑन फार्मर्स का गठन किया था. इस आयोग ने 2006 में अपनी रिपोर्ट सौंपते हुए कहा था कि किसानों के तेज व ज्यादा समग्र आर्थिक विकास के 11वीं पंचवर्षीय योजना के लक्ष्य को लेकर बनी है.

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