अप्रैल का महीना शराब पीने वालों के लिए बुरी खबर लेकर आ रहा है। जिसके बाद शराब खरीदने से पहले सौ बार सोचेंगे। अप्रैल माह से उत्तराखंड में शराब 15 फीसदी तक महंगी हो जाएगी। नई आबकारी नीति में एक्साइज ड्यूटी बढ़ाने का जो प्रावधान किया है उसका शराब की कीमतों पर भी असर पड़ेगा।
कैंटीन से मिलने वाली शराब भी 10 फीसदी तक महंगी हो जाएगी, क्योंकि सरकार ने इस पर 10 फीसदी असेस्मेंट फीस लगाने का फैसला लिया है। शराब की ठेकों की आनलाइन नीलामी आधार मूल्य निर्धारित करने के बाद की जाएगी।
प्रदेश मंत्रिमंडल ने सोमवार को नई आबकारी नीति को मंजूरी दे दी है। शासन स्तर पर नई आबकारी नीति की अधिसूचना जारी करने की तैयारी की जा रही है। नई आबकारी नीति में शराब की कीमतों को यूपी के बराबर रखने कोशिश की गई है, ताकि वहां से तस्करी नहीं होने पाए।
सरकार ने विभाग के राजस्व का लक्ष्य भी 2310 करोड़ से बढ़ाकर 2550 करोड़ रुपये कर दिया है। इस लिहाज से कीमतों पर इसका असर पड़ेगा। शराब के ठेकों को आवंटन ई-नीलामी के माध्यम से किए जाने को मंजूरी मिलने के बाद अपर मुख्य सचिव आबकारी डॉ. रणवीर सिंह मंगलवार को सचिवालय में इसकी तैयारियों को लेकर अधिकारियों के साथ बैठक की। उन्होंने ई-नीलामी का सॉफ्टवेयर तैयार करने का आदेश राष्ट्रीय सूचना केंद्र (एनआईसी) के अधिकारियों को दिया। बैठक में अपर आबकारी आयुक्त पीएस गर्ब्याल, संयुक्त आबकारी आयुक्त टीके पंत, उप आबकारी आयुक्त रमेश चौहान सहित कई अधिकारी मौजूद रहे।
नई आबकारी नीति की मुख्य बातें
-ठेकों की ई-नीलामी होगी।
-शर्तों के अधीन चार के समूह में दुकानों के ठेके लिए जा सकेंगे।
-बार के लाइसेंस फीस में भी होगी बढ़ोतरी।
-शराब की तस्करी रोकने के होंगे पुख्ता उपाय।
नियम और शर्तों को लेकर हो रहा है मंथन
ठेकों की ई-नीलामी को लेकर नियम और शर्त तैयार करने को लेकर आबकारी विभाग में मंथन शुरू हो गया है। विभाग में इसको लेकर भी तैयारी की जा रही है कि आबकारी नीति को कब वेबसाइट पर अपलोड की जाए। आवेदन कब से मांगे जाएं और फाइनेंशियल बिड खुलने के बाद आन नीलामी किसी तारीख को शुरू की जाए। देसी शराब के ठेकों की नीलामी में भाग लेने के लिए शुल्क 22 हजार और अंग्रेजी शराब के ठेकों के लिए 25 हजार रुपये प्रति ठेका होगी।