अजीत जोगी ने ठुकराया कांग्रेस से मिले पांच टिकटों को

रायपुर। चुनावी साल में सभी दल एक-दूसरे को तोड़ने और साधने में लगे हैं। सरकार बनाने या सत्ता का संतुलन बनाने में अजीत जोगी की पार्टी जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़ महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकती है। ऐसे में राजनीतिक गलियारे में चर्चा है कि कांग्रेस आलाकमान की ओर से एक बड़े नेता ने एक माह पहले जोगी से संपर्क किया गया था। हालांकि, जोगी ने इस बात से इनकार किया है। इधर, कांग्रेस के छत्तीसगढ़ प्रभारी पीएल पुनिया और प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष भूपेश बघेल भी कह चुके हैं, जो चला गया, उसके लिए दरवाजा बंद हो चुका है। लेकिन, जमाना गवाह है कि राजनीति के चौसर में स्थायी कुछ भी नहीं होता। दांव बदलते रहते हैं।अजीत जोगी ने ठुकराया कांग्रेस से मिले पांच टिकटों को

जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़ के एक विश्वस्त सूत्र ने बताया कि जोगी को कांग्रेस के एक बड़े नेता का फोन आया था। कांग्रेस नेता ने छत्तीसगढ़ में भाजपा से सत्ता छीनने के लिए कांग्रेस और जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़ के बीच समझौता करने की बात कही थी। कांग्रेस नेता ने यह भी कहा था कि जोगी अपनी पसंद की पांच सीट ले लें और शेष 85 सीटों पर कांग्रेस अपने प्रत्याशी उतारेगी।

जोगी ने इस समझौते को तत्काल ठुकरा दिया। उन्होंने कहा कि जनता कांग्रेस पूरी 90 सीटों में चुनाव लड़ने में सक्षम है। पार्टी सूत्र के मुताबिक इसी के बाद जोगी ने अपने जन्मदिन पर भाजपा और कांग्रेस को अपनी ताकत दिखाने का फैसला लिया। पन्ना संकल्प शिविर में साइंस कॉलेज मैदान को भरकर जोगी ने यही संदेश दिया कि भाजपा और कांग्रेस उन्हें हल्के में लेने की गलती न करें। जोगी ने मंच से यह भी कहा था कि उन्हें कोई तीसरी शक्ति समझने की हिम्मत न करें। वे ही पहली शक्ति हैं।

अमित जोगी ने ट्वीटर पर दिया जवाब 

जनता कांग्रेस को हल्के में लेने को लेकर जोगी के बेटे और विधायक अमित जोगी ने ट्वीटर पर नाराजगी दिखाई। 28 अप्रैल को उन्होंने ट्वीट किया कि कांग्रेस और राहुल गांधी पिछले 14 सालों से भाजपा और डॉ. रमन सिंह को छोड़कर अजीत जोगी व उनके परिवार के पीछे पड़े हैं। इसको जोगेरिया नहीं तो और क्या कहें? जब तक छत्तीसगढ़ की जनता हमारे साथ है, पप्पू और भूप्पू के आने-जाने से हमें कोई फर्क नहीं पड़ेगा। अमूमन राहुल गांधी पर जोगी या उनके परिवार ने अब तक सीधी बयानबाजी नहीं की थी।

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