हिंदू लड़की को अपहरण कर जबरन धर्म परिवर्तन के विरोध में लाहौर भर में हुआ जबरदस्त प्रदर्शन

पाकिस्तान के पंजाब प्रांत में एक “प्रभावशाली” मुस्लिम व्यक्ति ने एक किशोर हिंदू लड़की के अपहरण कर लिया था। इस मामले ने अब तूल पकड़ लिया है और अल्पसंख्यक समुदाय के लोगों में आक्रोश पैदा हो गया है। समुदाय के लोगों ने गुरुवार को धरने पर बैठकर शहर की मुख्य सड़क को जाम कर दिया, ताकि इमरान खान सरकार पर लड़की की सुरक्षित रिहाई के लिए दबाव बनाया जा सके।

तख्तियां और बैनर लिए हुए लाहौर से लगभग 400 किलोमीटर दूर रहीम यार खान में समुदाय के लोग 17 वर्षीय नैना की बरामदगी कराने और जबरन धर्मांतरण के खिलाफ नारे लगा रहे थे। पुलिस में दर्ज कराई गई एफआईआर के अनुसार नैना का पिछले महीने ताहिर तामरी ने अपने पिता और भाइयों की मदद से अपहरण कर लिया था। एफआईआर में कहा गया है कि अपहरणकर्ता लड़की को कराची ले गए और उससे शादी करने के बाद जमायतुल सईद गुलशन-ए-माईमा में इस्लाम धर्म ग्रहण करवा दिया।

लड़की का नाम बदलकर नूर फातिमा रख दिया गया था। संदिग्ध ने अपनी शादी करने की तस्वीरें और लड़की के इस्लाम धर्म स्वीकारने की तस्वीरें सोशल मीडिया पर अपलोड की थी। हिंदू समुदाय के सदस्य लड़की के अपहरण के खिलाफ सड़कों पर उतर आए और उन्होंने नैना के जबरन धर्म परिवर्तन के विरोध में गुरुवार को लगातार दूसरे दिन प्रदर्शन किया।

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एक तख्ती पर लिखा था- हिंदू लड़कियों का अपहरण करने के बाद उनका जबरन धर्म परिवर्तन कराना बंद करो। विरोध के दौरान लड़की के पिता रागु राम ने धमकी दी कि अगर उन्हें न्याय नहीं मिला, तो वह खुद को आग लगा लेंगे। रहीम यार खान जिले में कथित तौर पर करीब 1,50,000 हिंदू रहते हैं।

पुलिस के उच्च अधिकारियों ने जब लोगों को आश्वासन दिया कि न्याय किया जाएगा, तब प्रदर्शनकारियों ने धरना बंद किया। रहीम यार खान पुलिस प्रमुख उमर फारूक सलामत ने कहा कि लड़की को बरामद करने के लिए एक पुलिस दल को कराची भेजा गया है। उन्होंने कहा कि पुलिस टीम लड़की और संदिग्ध का पता लगाने के लिए कराची में मौजूद है और उम्मीद है कि हम जल्द ही उनका पता लगा लेंगे।

पिछले महीने दो हिंदू किशोर बहनों, रवीना (13) और रीना (15) को होली की पूर्व संध्या पर सिंध में घोटकी जिले में उनके घर से “प्रभावशाली” पुरुषों के एक समूह ने अपहरण कर लिया था। अपहरण के तुरंत बाद एक वीडियो वायरल हुआ था, जिसमें एक मौलवी दोनों लड़कियों की शादी कराते दिख रहा था। इस वीडियो के सामने आने के बाद देशभर में आक्रोश फैल गया था।

इस सप्ताह पाकिस्तान के मानवाधिकार आयोग ने अपनी वार्षिक रिपोर्ट में हिंदू और ईसाई लड़कियों के जबरन धर्म परिवर्तन और विवाह की घटनाओं पर चिंता जाहिर की है। रिपोर्ट में कहा गया है कि पिछले साल अकेले दक्षिणी सिंध प्रांत में इस तरह के करीब 1,000 मामले सामने आए थे। ‘स्टेट ऑफ ह्यूमन राइट्स 2018’ नाम की 335 पेज की रिपोर्ट में कहा गया है कि उमरकोट, थारपारकर, मीरपुरखास, बादिन, कराची, टांडो अल्लाहियार, काशमोर और घोटकी में इस तरह के मामले बार-बार सामने आते रहते हैं।

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