इस वजह से हमारे पूर्वज पहनते थे खड़ाऊ, जान लें खड़ाऊ पहनने के ये फायदे

पुराने समय में चरण पादुका (खड़ाऊ) पहनने की परंपरा थी जो आधुनिक समय में भी जारी है। खड़ाऊ पहनने से धार्मिक व वैज्ञानिक लाभ मिलते हैं। जानिये,आखिर क्यों पहने जाते हैं खड़ाऊ और क्या महत्व है। खड़ाऊ लकड़ी से निर्मित होते हैं और पौराणिक काल में ऋषि-मुनि इन्हें पैरों में पहनते थे। आज के समय में भी साधु-संत इनको पहनते हैं।
स्वास्थ्य को लाभ
– खड़ाऊ पहनने से सेहत को कई लाभ मिलते हैं और शरीर में रीढ की हड्डी संबंधित कभी कोई परेशानी नहीं आती है।
– इन्हें पहनने पर शरीर में रक्त का संचार सुचारू रूप से होता है जिससे सेहत भी स्वस्थ रहती है।
– खड़ाऊ से पैरों की मांशपेशियों को आराम मिलने से मन व मस्तिष्क स्वस्थ रहते हैं और मानसिक तनाव और शरीर के अन्य रोग नहीं होते हैं।
– पैरों में खड़ाऊ पहनने से कभी सर्दी भी नहीं लगती है और आसानी से कैसे भी रास्ते पर चला जा सकता है।
विभिन्न प्रकार के खड़ाऊ
खड़ाऊ को लकडी से बनाया जाता है लेकिन पहले इन्हें हाथी दांत या चांदी से भी बनाया जाता था और इनका आकार अलग-अलग होता था। लकडी के खड़ाऊ बहुत सस्ते होते हैं और देखने में सुंदर व लंबे समय तक चलने वाले टिकाऊ होते हैं।

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