किशनगंज रैली में राहुल ने पीएम मोदी और नीतीश पर साधा निशाना, कहा- किसान अडानी-अंबानी से कर पाएंगे सौदा ?

नई दिल्ली। बिहार विधानसभा चुनाव के तीसरे चरण को लेकर कैंपेंनिग शुरू हो गई है। आज मंगलवार को कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने किशनगंज में जनसभा को संबोधित करते हुए मोदी सरकार और सीएम नीतीश कुमार पर जमकर निशाना साधा।

किशनगंज रैली को संबोधित करते हुए राहुल गांधी ने कहा कि नीतीश जी और मोदी जी ने मिलकर बिहार को लूटा है। और बिहार के गरीब किसानों और छोटे दुकानदारों के पेट पर लात मारी है, और उन्हें नष्ट किया है। अब बिहार के युवाओं और किसानों ने मन बना लिया है कि महागठबंधन को चुनाव जीताना है और बिहार को बदलने का काम शुरू करना है।

वहीं, राहुल गांधी ने कहा कि छत्तीसगढ़ की सरकार सीधे किसानों के खाते में पैसे डालती है। और बिहार की सरकार किसानों के हक को छीनती है। पीएम मोदी ने नया कृषि बिल पास किया है। जो किसानों के हित में नहीं है। ये बिल मोदी जी के कुछ मित्रों के लिए है। सबसे ज्यादा सोचने का विषय तो यह है कि आज हमारे किसाना भाईयों के साथ नइंसाफी हो रही है। क्या हमारा किसान अंबानी और अडानी से सौदा कर पाएगा, एक गुजरात में है, एक बंबई में है और आप बिहार में हैं। हम ये आदत डालना चाहते हैं कि छत्तीसगढ़ की तरह धान के 2500 रुपये बिहार के किसानों को भी मिले।

राहुल गांधी ने कहा कि पीएम और आरएसएस ने सबसे ज्यादा आक्रमण किसानों और गरीबों पर किया है। बीजेपी-आरएसएस का काम नफरत फैलाना और बांटना है। बीजेपी की बी-टीम नफरत फैलाने में लगी रहती है। हम ए और बी दोनों टीम से लड़ते हैं।

रोजगार देने में नाकाम रहे नीतीश कुमार

राहुल गांधी ने कहा कि नीतीश कुमार ने युवाओं को रोजगार देने का वादा किया था, लेकिन जब युवा उनसे नौकरी के बारे में पूछते हैं तो उनको वो गाली देते हैं। नीतीश कुमार को ये बोलना चाहिए कि वो रोजगार देने में नाकाम रहे। देश में जहां भी कांग्रेस की सरकार है वहां किसानों, गरीबों और रोजगार को लेकर काम होता है।

राहुल गांधी ने कहा कि लॉकडाउन के दौरान जब आप सड़क पर भूखे-प्यासे चल रहे थे तब नरेंद्र मोदी जी और नीतीश जी ने आपकी मदद नहीं की, कांग्रेस पार्टी ने मजदूरों को घर भेजने का काम किया। आज यही आपसे हाथ जोड़कर वोट मांगते हैं। इतनी भी शर्म नहीं है इनमें। जब आपको जरूरत थी तब ये कहां थे? तब ये भारत के सबसे अमीर लोगों का टैक्स माफ कर रहे थे।

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