देश में पहली बार ट्रांसजेंडर मोनिका दास को बनाया पीठासीन पदाधिकारी

नई दिल्ली। बिहार विधानसभा चुनाव में राजधानी पटना की ट्रांसजेंडर मोनिका दास को पीठासीन पदाधिकारी बनाया जाएगा। ऐसा पहली बार है कि देश में किसी ट्रांसजेंडर को चुनाव के लिए पीठासीन पदाधिकारी बनाया जाए। मोनिका देश की पहली ट्रांसजेंडर बैंकर हैं। वो अभी केनरा बैंक में कार्यरत हैं। मोनिका दास पीठासीन पदाधिकारी के तौर पर एक बूथ की पूरी जिम्मेदारी संभालेंगी। इसमें मतदान कराने से लेकर मॉनिटरिंग तक करना होगा।

कुछ समय पहले मोनिका ने एक इंटरव्यू में बताया था कि जब वे तीन साल की थीं तब पड़ोसियों को उनके ट्रांसजेंडर होने की जानकारी हुई। वे थोड़ी बड़ी हुईं तो इस वजह से कोई उनसे दोस्ती नहीं करता था। मोनिका के पिता ने उनका नाम गोपाल रखा था।

वे अपने स्कूल में सबसे अलग-थलग रहती थीं। क्लास-मेट ताने देते थे, जिससे वे बहुत आहत होती थीं। खूब रोती थीं। मगर इन सब के बावजूद उन्होंने आत्मविश्वास कायम रखा और अपना ध्यान पढ़ाई में लगाए रखा। बाद में उन्होंने अपनी ट्रांसजेंडर आइडेंटी के साथ जीने का फैसला किया।

पिता ने उनका हौसला देख सोसायटी के तानों से बचाने के लिए नवोदय विद्यालय में एडमिशन करवा दिया गया। यहां उन्होंने 12वीं तक की पढ़ाई की। उन्होंने ग्रैजुएशन पटना यूनिवर्सिटी से किया। मोनिका ने पटना लॉ कॉलेज से एलएलबी की भी डिग्री ली है। उनके पिता भगवान दास ढोली सेल्स टैक्स अफसर थे, जबकि मां अनीमा रानी भौमिक बीएसएनएल की रिटायर्ड एम्प्लॉई हैं। मोनिका के दो भाई बैंक में हैं और दो प्राइवेट नौकरी करते हैं।

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