इस खास तरीके से घर पर बनाएं ‘खट्टी-मीठी आंवला कैंडी’, महीनों तक आसानी से कर सकेंगे स्टोर

क्या आप उन लोगों में से हैं जो सेहत के खजाने आंवला को उसका कसैला स्वाद आने के कारण अनदेखा कर देते हैं? क्या आप भी चाहते हैं कि कोई ‘जादू’ हो और यह सुपरफूड इतना स्वादिष्ट बन जाए कि आप इसे टॉफी की तरह खाते रहें? अगर हां, तो यह रेसिपी आपके लिए ही है। आंवले को आप मीठे और चटपटे स्वाद के साथ भी खा सकते हैं। आइए, जानते हैं इसकी खट्टी-मीठी कैंडी बनाने की आसान रेसिपी।

आंवला हमारी सेहत के लिए किसी वरदान से कम नहीं है। यह विटामिन C का एक अद्भुत स्रोत है, जो हमारी रोग प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाता है, पाचन को दुरुस्त रखता है और बालों व त्वचा के लिए भी बहुत फायदेमंद है, लेकिन इसका कसैला स्वाद अक्सर लोगों को पीछे हटा देता है।

ऐसे में, घबराइए नहीं क्योंकि अगर आप आंवले को एक स्वादिष्ट रूप देना चाहते हैं, तो घर पर ही ‘खट्टी-मीठी आंवला कैंडी’ बनाना सबसे अच्छा उपाय है। यह बनाने में जितनी आसान है, उतनी ही मजेदार और चटपटी भी होती है, जिसे आप बिना किसी झंझट के पूरे एक साल तक एयरटाइट डिब्बे में स्टोर कर सकते हैं।

आंवला कैंडी बनाने के लिए सामग्री

ताजा आंवला: 500 ग्राम

चीनी: 500 ग्राम

काला नमक: 1 छोटा चम्मच

भुना जीरा पाउडर: 1 छोटा चम्मच (चटपटा स्वाद देने के लिए)

पिसी हुई चीनी (कोटिंग के लिए): 2-3 बड़े चम्मच

आंवला कैंडी बनाने की विधि

आंवले के पोषक तत्वों को बरकरार रखने के लिए, इसे पानी में उबालने की बजाय स्टीम करना सबसे अच्छा होता है।

ऐसे में, सबसे पहले एक बर्तन में पानी उबालें और उसके ऊपर एक जाली वाली प्लेट या स्टीमर रखें।

साफ किए हुए आंवले को जाली पर रखकर ढक दें और लगभग 10-15 मिनट तक मध्यम आंच पर स्टीम करें।

जब आंवले की कलियां अपने आप अलग होने लगें या हल्के नरम हो जाएं, तो गैस बंद कर दें।

आंवले के ठंडा होने पर, चाकू की मदद से या हाथ से इसकी कलियों को अलग कर लें और बीज निकाल दें।

कैंडी का स्वाद पूरी तरह आंवले के चाशनी सोखने पर निर्भर करता है।

आंवले की अलग की हुई कलियों को एक बड़े कांच या स्टील के बर्तन में डालें।

अब इसमें पूरी 500 ग्राम चीनी डालकर अच्छे से मिलाएं।

बर्तन को ढककर 24 से 48 घंटों के लिए किसी सूखी जगह पर रख दें।

इस दौरान हर 12 घंटे में एक बार चम्मच से हल्के हाथ से मिलाएं। आप देखेंगे कि चीनी पूरी तरह पिघलकर चाशनी में बदल गई है।

चाशनी में डूबे हुए आंवले को अब सुखाने की बारी है। एक छलनी की मदद से आंवले की कलियों को चाशनी से अलग कर लें।

चाशनी को फेंके नहीं, यह एक स्वादिष्ट आंवला सिरप है जिसे पानी में मिलाकर पिया जा सकता है।

इन कलियों को एक थाली या ट्रे पर फैलाकर रखें। ध्यान रहे कि कलियां आपस में न चिपके।

इन्हें धूप में 2 से 3 दिन तक सुखाएं, या फिर अगर आपके यहां धूप नहीं आती, तो पंखे के नीचे 3 से 4 दिन तक सुखाएं। मकसद है कि आंवले में मौजूद नमी पूरी तरह खत्म हो जाए।

जब आंवले की कलियाँ अच्छी तरह सूखकर थोड़ी सख्त हो जाएं, तो यह आखिरी स्टेप है।

सूखे हुए आंवला कैंडी को एक बड़े कटोरे में लें। इसमें काला नमक और भुना जीरा पाउडर डालकर अच्छी तरह मिलाएं।

अब इसमें पिसी हुई चीनी डालकर हल्के हाथ से टॉस करें। चीनी की कोटिंग से कैंडी आपस में चिपकेगी नहीं और इसका स्वाद बाजार जैसा हो जाएगा।

तैयार कैंडी को एक एयर टाइट कंटेनर में भरकर रख लें।

महीनों तक नहीं होगी खराब

यह कैंडी पूरे साल क्यों नहीं खराब होती? इसकी दो मुख्य वजह हैं:

चीनी नेचुरली प्रिजर्वेटिव का काम करती है, जो नमी को सोख लेती है और बैक्टीरिया को पनपने नहीं देती।

अगर आंवला कैंडी को अच्छी तरह सुखाया जाए (यानी उसमें नमी न रहे), तो इसे महीनों तक स्टोर किया जा सकता है।

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