सालों बाद जन्माष्टमी पर बना श्रीकृष्ण जयंती योग, भाग्यशाली होगे जो इस दिन लिए होगे जन्म

श्रीकृष्ण जन्माष्टमी पर इस बार बिलकुल वैसा ही संयोग बन रहा है, जैसा द्वापर युग मे कान्हा के धरती पर जन्म लेने के समय बना था. श्री कृष्ण जयंती योग के नाम से इस संयोग को जाना जाता है. इस बार कई सालों के बाद वैसा ही संयोग कृष्ण जन्माष्टमी पर बन रहा है.

1.कृष्ण जयंती योग ऐसे बनता है

8 बज कर 48 मिनट पर रविवार 2 सितंबर को अष्टमी तिथि लग रही है. निर्णय सिंधु नामक ग्रंथ कि माने तो कृष्ण जयंती का संयोग भादपद्र के कृष्ण पक्ष की अष्टमी तिथि में आधी रात यानी बारह बजे रोहिणी नक्षत्र हो और सूर्य सिंह राशि में और चंद्रमा वृष राशि में हो तब ये बनता है.

2. कृष्ण के भक्तों के लिए खास

धार्मिक आस्था के अनुसार, कृष्ण जयंती योग के समय व्रत और उपवास रखना बहुत ही शुभ माना जाता है. इसी के चलते कृष्ण के जन्म से एक दो दिन पहले से ही लोग उपवास और व्रत रखना शुरू कर देते हैं. जो लोग व्रत रखते हैं, वो जबतक कृष्ण का जन्म नहीं होता तब तक भजन और कीर्तन करते रहते हैं. उसके बाद जब कृष्ण का जन्म हो जाता है तो प्रसाद ग्रहण करते हैं. अगले दिन सूर्य देवता को जल देकर खाना खाते हैं.

3. इस समय जन्में बच्चे होंगे भाग्यशाली

इस योग को सनातन धर्म में बहुत ही ज्यादा शुभ माना जाता है. इस मुहूर्त में जन्म लेने वाले बच्चे को बहुत ही ज्यादा भाग्यशाली माना जाता है. ऐसा माना जाता है कि ये बच्चे आगे चलकर अपने परिवार का नाम रोशन करते हैं. कहा जाता है कि इस योग में जन्मे बच्चे पर भगवान की कृपा हमेशा बनी रहती है.

जन्‍माष्‍टमी 2018 की तिथि और शुभ मुहूर्त 

इस बार अष्टमी 2 सितंबर रात 08:47 पर लगेगी और 3 सितंबर की शाम 07:20 पर खत्म हो जाएगी.
अष्‍टमी तिथि प्रारंभ: 2 सितंबर 2018 रात 08.47
अष्‍टमी तिथि समाप्‍त: 3 सितंबर 2018 शाम 07.20
रोहिणी नक्षत्र प्रारंभ: 2 सितंबर 2018 रात 8 बजकर 48 मिनट.
रोहिणी नक्षत्र समाप्‍त: 3 सितंबर 2018 रात 8 बजकर 5 मिनट.
श्रीकृष्ण जन्‍माष्‍टमी 2018 व्रत का पारण: 3 सितंबर की रात 8 बजकर 05 मिनट के बाद.

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