WhatsApp ने एपल यूजर्स के लिए जारी किया खास अपडेट

WhatsApp ने एपल यूजर्स की सुरक्षा के लिए एक नया अपडेट जारी किया है। इस अपडेट में iOS और Mac ऐप यूजर्स को प्रभावित करने वाले बग्स को ठीक किया गया है। कंपनी के अनुसार हैकर्स इन खामियों का फायदा उठाकर यूजर्स की जासूसी कर रहे थे। मेटा के प्रवक्ता ने बताया कि लगभग 200 यूजर्स इस बग से प्रभावित हुए हैं।
WhatsApp ने Apple यूजर्स की सिक्योरिटी के लिए अपडेट जारी किया है। यह अपडेट खासतौर पर iOS और Mac ऐप यूजर के लिए जारी किया गया है। कंपनी ने बताया कि हैकर्स ऐप में मौजूद खामियों का फायदा उठाकर यूजर्स की जासूसी कर रहे थे। वॉट्सऐप ने एपल यूजर्स को प्रभावित कर रहे बग्स को फिक्स करते हुए दो सिक्योरिटी पैच रिलीज किए हैं। कंपनी ने जिन बग्स को फिक्स किया है उनमें CVE-2025-55177 और CVE-2025-43300 शामिल हैं।
Apple ने यूजर्स को इन बग्स को लेकर पहले ही अलर्ट कर चुका था। एपल ने बताया था कि इन बग्स का इस्तेमाल करके हैकर्स ने कुछ खास लोगों के डिवाइस पर अटैक किया था। इन दिनों बग्स के बारे में बताया जा रहा है कि हैक्स zero-click exploit टेक्नीक के जरिए यूजर्स का डिवाइस हैक कर रहे थे। इसमें हैकर्स बिना यूजर के लिंक में टैप करने या फाइल को ओपन किए बगैर ही डिवाइस का एक्सेस ले सकते हैं।
बग का मई में चल गया था पता
एमनेस्टी इंटरनेशनल की सिक्योरिटी लैब ने अपने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X (पूर्व में ट्विटर) पर एक पोस्ट शेयर की है। इसमें बताया कि यह बग मई के अंत महीने से एक्टिव था, जिसमें हैकर्स अपने टारगेट यूजर के आईफोन और मैकबुक से डेटा चुराने के लिए इसका फायदा उठा रहे थे। सिक्योरिटी लैब के प्रमुख डोन्चा ओ सेरबैल ने इसे “एडवांस स्पाइवेयर कैंपेन” नाम देते हुए बताया कि हैकर्स इसका फायदा उठाकर डेटा चुरा रहे हैं।
Meta के प्रवक्ता Margarita Franklin ने TechCrunch को बताया कि उन्हें इस बग का पता कुछ हफ्ते पहले ही चला है। उन्होंने बताया कि कम से कम 200 यूजर्स इस बग से प्रभावित हुए हैं। मेटा ने फिलहाल यह जानकारी शेयर नहीं की है कि इस अटैक के पीछे कौन शामिल था। सिक्योरिटी एक्सपर्ट का कहना है कि इन दोनों बग्स के चलते हैकर्स सीधे एपल डिवाइस से डेटा चुरा सकते थे।
Zero-click Exploits क्या होता है?
जीरो-क्लिक एक्सप्लॉइट बग्स बहुत खतरनाक होते हैं। ये यूजर्स को न के बराबर सिक्योरिटी प्रदान करते हैं। इस बग के चलते कोई भी डिवाइस आसानी से हैक किया जा सकता है। किसी भी बग्स से सुरक्षित रहने के लिए यूजर्स को अपने डिवाइस में लेटेस्ट सॉफ्टवेयर इंस्टॉल करना चाहिए।