आईए जानें आयुर्वेद के अनुसार दही को खाने का सही तरीका क्या है…

लंच हो या सुबह का नाश्ता, अगर आप भी पराठे के साथ दही खाते समय स्वाद के लिए उसमें नमक मिलाते हैं तो ये खबर खास आपके लिए ही है। जी हां, सेहत के लिए दही के फायदे किसी से छिपे नहीं हैं। गर्मियों में तो दही को सेहत के लिए वरदान माना जाता है। दही में मौजूद कैल्शियम, प्रोटीन समेत कई तरह के विटामिन्स और मिनरल्स व्यक्ति को सेहतमंद बनाए रखने में मदद करते हैं। सेहत के लिए इतनी फायदेमंद होने के बावजूद अगर आप दही खाने का सही तरीका नहीं जानते तो ये फायदे की जगह नुकसान भी कर सकती है। दरअसल, कुछ लोगों को दही में चीनी मिलाकर खाना पसंद होता है तो कुछ लोग नमक मिलाकर खाते हैं। पर क्या जानते हैं आयुर्वेद के अनुसार दही को खाने का सही तरीका क्या है। आइए जानते हैं।   

दही में नमक डालकर खाना चाहिए या नहीं?-
आयुर्वेद के अनुसार दही अम्लीय होता है। दही खाने से शरीर में पित्त और कफ बढ़ सकता है। जबकि दही वात को कम कर सकता है। अगर आप दही में नमक मिलाकर खाते हैं, तो दही में अधिक मात्रा में नमक डालकर खाने से बचें। आप चाहें तो दही को छाछ के रूप में भी पी सकते हैं। इसमें आप हल्का नमक और जीरे का पाउडर मिक्स कर सकते हैं। लेकिन रोजाना दही में नमक मिलाकर खाने से पित्त और कफ तेजी से बढ़ सकता है। इसके विपरीत आयुर्वेद दही को शहद, चीनी, मिश्री या घी के अलावा मूंग दाल में मिलाकर खाने की सलाह भी देता है। दही में शहद या मिश्री डालकर खाने से पित्त, कफ और वात संतुलन में रहते हुए डाइजेशन में भी सुधार होता है। 

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