उत्तराखंड में अब भर्तियों की रफ्तार बढ़ने जा रही है, पढ़े पूरी खबर
उत्तराखंड में अब भर्तियों की रफ्तार बढ़ने जा रही है। राज्य सरकार ने सभी प्रमुख सचिव और सचिवों से अपने अधीन विभागों से रिक्त पदों पर भर्ती के लिए प्रस्ताव मांगें हैं। लोक सेवा आयोग की परिधि के बाहर के पदों पर विभाग ने खुद ही भर्ती एजेंसियों को प्रस्ताव भेजने के निर्देश दिए हैं। सचिव कार्मिक एवं सतर्कता शैलेश बगौली ने बुधवार को यह आदेश किए। उन्होंने प्रमुख सचिव और सचिवों को भेजे निर्देश में अधीनस्थ विभागों से भर्ती के प्रस्ताव शीघ्र देने को कहा है।
बगौली ने उत्तराखंड सम्मिलित राज्य प्रवर एवं अवर अधीनस्थ और उत्तराखंड सम्मिलित राज्य कनिष्ठ एवं सहायक अभियंता चयन परीक्षा से संबंधित रिक्त पदों को प्रस्ताव कार्मिक विभाग जबकि इससे इतर भर्तियों के प्रस्ताव सीधे भर्ती आयोगों को भेजने के निर्देश दिए हैं। मुख्यमंत्री पुष्कर धामी ने एक साल के भीतर 20 हजार रिक्त पदों पर नौकरियां देने का ऐलान किया था लेकिन इस बीच जुलाई, 22 में भर्ती घपलों का भंडाफोड़ होने से भर्ती प्रक्रिया थोड़ा थम गई है। सरकार ने अब इसमें तेजी लाने की कसरत शुरू कर दी है।
भर्तियों को लेकर मुख्यमंत्री गंभीर
मुख्यमंत्री पुष्कर धामी विभागों में रिक्त पदों पर जल्द भर्तियों को लेकर गंभीर हैं। बेरोजगार युवाओं को इन पदों पर जल्द नौकरियों का मौका मिले, इस बाबत वे भर्ती एजेंसियों को प्रक्रिया में तेजी लाने के निर्देश दे चुके हैं। अब वे विभागवार रिक्त पदों का ब्योरा जुटाने के लिए समीक्षा बैठक करने जा रहे हैं। इस तैयारियों के सिलसिले में मुख्यमंत्री के सचिव बगौली ने सभी प्रमुख सचिव और सचिवों को अपने-अपने विभागों में रिक्त पदों का डेटा तैयार रखने के निर्देश दिए हैं।
रिक्त पदों का ब्योरा
विभाग रिक्त पद
शिक्षा 5710
चिकित्सा और चिकित्सा शिक्षा 3945
गृह 2461
वन 2428
ऊर्जा 2200
सिंचाई 1412
कौशल विकास 1203
कार्मिक सचिव शैलेश बगौली ने कहा, ‘भर्तियों को लेकर सरकार का इरादा बिल्कुल साफ है। इसमें तेजी लाने को दिव्यांगजनों के पदों का चिन्हीकरण समय रहते पूरा किया गया। अब सभी विभागों से तत्काल भर्तियों के प्रस्ताव मांगें हैं, जिससे भर्ती प्रक्रिया में तेजी लाई जा सके।’
विभागों में 29 हजार हैं रिक्तियां
सरकारी विभागों में विभिन्न संवर्गों के लगभग 29 हजार से ज्यादा पद रिक्त हैं। अक्तूबर, 22 में कार्मिक विभाग ने ये आंकड़े मांगें थे, जिनमें से डेढ़ दर्जन विभागों ने यह ब्योरा उपलब्ध कराया था। इनमें शिक्षा, स्वास्थ्य, चिकित्सा शिक्षा, गृह, वन, ऊर्जा, सिंचाई, लोनिवि, पंचायतीराज में सबसे ज्यादा पद रिक्त हैं। यदि निगमों, निकायों और प्राधिकरणों को भी शामिल कर लिया जाए तो यह संख्या 38 हजार पार कर रही है। इसके अलावा राज्य में करीब 22 हजार पद आउटसोर्स से भरे गए हैं।