होठों को ड्राई कर रही है आपकी मैट लिपस्टिक
अगर आप भी मैट लिपस्टिक का इस्तेमाल करती हैं और फटे होंठों (Chapped Lips) की समस्या से परेशान हैं तो यह आर्टिकल आप ही के लिए है। यहां हम आपको बताएंगे कुछ ऐसे टिप्स (Tips For Wearing Matte Lipstick) जिनकी मदद से आप होठों को फटने से तो बचाएंगी ही साथ ही इन्हें सॉफ्ट और पिंक भी बना सकेंगी। आइए जानें।
लिपस्टिक लगाने के कारण अगर आपके होंठ भी रूखे पड़ गए हैं तो आप कुछ खास टिप्स की मदद से इन्हें गुलाबी और मुलायम बना सकते हैं। फटे होंठों के पीछे खराब क्वालिटी की लिपस्टिक भी वजह हो सकती है, तो वहीं कई मामलों में ऐसा मैट लिपस्टिक (Dry Lips From Matte Lipstick) के कारण भी होता है। आइए आज आपको इसके इस्तेमाल से जुड़े कुछ खास टिप्स (Lip Care Tips) बताते हैं जिनकी मदद से आप इस समस्या से निजात पा सकते हैं।
कैसे करें मैट लिपस्टिक का इस्तेमाल?
कई बार मैट लिपस्टिक को सीधे ट्यूब से लगाने के कारण भी ड्राई लिप्स की समस्या हो सकती है। खासतौर से जब लिपस्टिक पुरानी हो और बहुत ज्यादा ड्राई हो गई हो, तो इसे यूज करने से पहले ब्लो ड्रायर चलाएं। इससे होगा ये कि लिपस्टिक थोड़ी पिघल जाएगी और होठों पर इसे लगाने में ज्यादा परेशानी का सामना नहीं करना पड़ेगा।
मैट लिपस्टिक लगाने से पहले, जरूरी है कि आप अपने होठों को अच्छे से मॉइस्चराइज कर लें। इसके लिए सबसे पहले स्क्रब का इस्तेमाल करें। ऐसे में, आप ब्राउन शुगर की मदद से अपना खुद का DIY स्क्रब रेडी कर सकती हैं और इससे होंठों पर मसाज करने के बाद हाईड्रेटिंग लिप बाम का इस्तेमाल कर सकती हैं। इसके बाद जब आप लिपस्टिक लगाएंगी, तो ड्राई लिप्स की परेशानी नहीं होगी।
लिक्विड मैट लिपस्टिक का यूज करने से अगर आपके होंठ ड्राई हो रहे हैं, तो इससे पहले आप क्रीम लिपस्टिक से इन्हें कोट कर सकते हैं। क्रीम लिपस्टिक होंठों को फटने से बचाती है जिससे आपको ड्राई लिप्स की परेशानी नहीं झेलनी पड़ती है।
लिपस्टिक लगाने से करीब 10 मिनट पहले मॉइस्चराइजिंग बाम का इस्तेमाल करें। अगर आपके होंठ बहुत ज्यादा रूखे हैं, तो अपने डेली रूटीन में कम से कम 8-10 गिलास पानी जरूर पिएं।
मैट लिपस्टिक लगाने से पहले आपको होंठों पर क्रीमी लाइनर भी लगाना चाहिए। इससे लिप्स ड्राई होने से बचते हैं और लिपस्टिक भी लंबे समय तक टिकी रहती है। वहीं, अगर आपके होंठों की त्वचा सेंसिटिव है तो कोशिश करें कि आपकी लिपस्टिक में ज्यादा केमिकल न हों।