श्री श्याम बाबा का जन्मोत्सव पर नोटों से किया बाबा का शृंगार

देवउठनी एकादशी पर श्री श्याम बाबा का जन्मोत्सव धूमधाम से मनाया गया। जन्मोत्सव के अवसर पर यहां जयपुर रोड स्थित पोकी नाड़ी बालाजी मंदिर परिसर में श्री श्याम बाबा की प्रतिमा का नोटों से आकर्षक शृंगार किया गया तथा 108 किलो मिल्क केक का भोग लगाया गया।

लाखों श्रद्धालुओं की आस्था के केंद्र खाटू श्याम के प्रतिरूप माने जाने वाले केकड़ी के सुप्रसिद्ध श्याम बाबा के जन्मोत्सव पर मंगलवार को सुबह मंदिर में मंगला आरती के बाद दर्शन आरंभ किए गए। उसके बाद मंदिर में भक्तों का तांता लग गया। दर्शनों का यह सिलसिला देर रात तक चलता रहा। बाबा श्याम को श्रद्धालुओं द्वारा बड़ी संख्या में मिल्क केक अर्पित किए गए तथा मंदिर परिसर में विभिन्न धार्मिक कार्यक्रम आयोजित किए गए। जन्मोत्सव का यह कार्यक्रम श्याम प्रेमी सेवा समिति व पोकी नाड़ी विकास समिति के तत्वावधान में आयोजित हुआ।

सुबह से ही विभिन्न इलाकों से महिला-पुरुष जयकारों के साथ पदयात्रा करते हुए श्याम मंदिर पहुंचे। श्री श्याम मित्र मंडल कमेटी द्वारा दर्शनार्थियों के लिए विशेष व्यवस्थाएं की गईं तथा सभी को प्रसाद वितरण किया गया। मंदिर परिसर दिन भर बाबा श्याम के जयकारों से गूंजता रहा। श्रद्धालुओं ने बाबा श्याम के दरबार के सामने भजनों व नृत्य प्रस्तुत किए।

इस अवसर पर मंगलवार को सुबह शहर के प्राचीन चारभुजा मंदिर से निशान यात्रा निकाली गई। निशान यात्रा में शहरवासियों सहित आसपास के गांवों के लोग शामिल हुए। इस निशान यात्रा का शहरवासियों ने जगह-जगह पुष्पवर्षा कर स्वागत किया गया। यात्रा में महिला-पुरुष, आबाल-वृद्ध हाथों में बाबा श्याम का ध्वज लेकर चल रहे थे। यात्रा के दौरान आकर्षक आतिशबाजी भी की गई।

6 लाख के नोटों का शृंगार
श्याम बाबा के जन्मोत्सव पर उनके विग्रह का नोटों से अनूठा शृंगार किया गया। इसके अंतर्गत दस, बीस, पचास, सौ, दो सौ व पांच सौ के नोटों को कलात्मक ढंग से गूंथकर रंग-बिरंगी मालाएं बनाई गईं और फिर उन मालाओं को करीने से श्याम बाबा के विग्रह पर सजाया गया। साथ ही मंदिर परिसर में विराजमान भगवान लक्ष्मीनारायण व बालाजी का भी शृंगार किया गया, इसके लिए कुल 6 लाख रुपयों के नोट उपयोग हुए।

108 किलो मिल्क केक का लगाया भोग
बाबा के जन्मोत्सव पर श्रद्धालुओं ने काजू, बादाम, पिस्ता से बनाया गया 108 किलो मिल्क केक का भोग लगाया। भोग लगाने के पश्चात केक का प्रसाद श्रद्धालुओं में वितरण किया गया।

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