ज्येष्ठ पूर्णिमा पर करें ये आसान उपाय, मानसिक तनाव से मिलेगी निजात

सनातन धर्म में पूर्णिमा तिथि का विशेष महत्व है। इस दिन श्रद्धालु गंगा समेत पवित्र नदियों में स्नान-ध्यान कर भगवान विष्णु की पूजा करते हैं। यह पर्व हर महीने शुक्ल पक्ष की चतुर्दशी तिथि के अगले दिन मनाई जाती है। इस वर्ष 22 जून को ज्येष्ठ पूर्णिमा है। वहीं, 21 जून को वट पूर्णिमा व्रत है। ज्योतिष शास्त्र में पूर्णिमा तिथि पर विशेष उपाय करने का विधान है। इन उपायों को करने से कुंडली में चंद्रमा मजबूत होता है। कुंडली में चंद्रमा मजबूत होने से जातक का मन प्रसन्न रहता है। साथ ही जातक को शुभ कार्यों में सिद्धि प्राप्त होती है। कुंडली में चंद्रमा कमजोर होने पर मानसिक तनाव की समस्या होती है। अगर आप भी मानसिक तनाव से निजात पाना चाहते हैं, तो ज्येष्ठ पूर्णिमा पर ये उपाय जरूर करें।
ज्येष्ठ पूर्णिमा के उपाय
पूर्णिमा तिथि पर स्नान-ध्यान और पूजा-पाठ समेत दान-पुण्य करने का विधान है। अतः ज्येष्ठ पूर्णिमा तिथि पर गंगा स्नान अवश्य करें। सुविधा न होने पर घर पर ही गंगाजल युक्त पानी से स्नान करें। इसके बाद विधि-विधान से भगवान विष्णु एवं मां लक्ष्मी की पूजा करें। शास्त्रों में निहित है कि गंगा स्नान करने से समस्त पाप नष्ट हो जाते हैं। साथ ही मानसिक और शारीरिक व्याधि से भी मुक्ति मिलती है।
ज्येष्ठ पूर्णिमा के दिन पूजा-पाठ के बाद सफेद चीजों का दान करें। आप सफेद चावल, चीनी, मिश्री, दूध, दही आदि चीजों का दान करें। इस उपाय को करने से कुंडली में चंद्रमा मजबूत होता है।
ज्येष्ठ पूर्णिमा पर पूजा के समय भगवान विष्णु एवं मां लक्ष्मी को गुड़ से मिश्रित चावल की खीर अर्पित करें। साथ ही संध्याकाल में चंद्र देव को चावल की खीर का भोग लगाएं। इस उपाय को करने से साधक पर भगवान विष्णु की कृपा बरसती है।
कुंडली में चंद्रमा मजबूत करने के लिए ज्येष्ठ पूर्णिमा पर संध्याकाल में जल में सफेद फूल या चावल मिलाकर चंद्र देव को अर्घ्य दें। इस उपाय को करने से चंद्र देव प्रसन्न होते हैं। उनकी कृपा से साधक को मानसिक तनाव से निजात मिलती है।