पुरानी खोपड़ी से बनाया था मशहूर संगीतकार का चेहरा, हुआ विवाद, अब मिले ऐसे सबूत

पिछले कुछ सालों में वैज्ञानिक पुरानी कब्रों से मिली खोपड़ी के आधार पर उस दौर के इंसान के चेहरे को फिर से बना पा रहे हैं. जब किसी खास और नामी कब्र के इंसान का चेहरा बनाया जाता है तो वह सुर्खियों में भी आ जाता है. ऐसी ही एक चर्चा इतिहास के सबसे महान संगीतकार को लेकर हो रही है. जोहान सेबेस्टियन बाख नाम के इस संगीतकार का चेहरा बनाने के बाद उस पर विवाद हो गया था कि वास्तव में वह उन्हीं का ही चेहरा है या नहीं. इसी मामले में मिले कुछ प्रमाणों ने विवाद फिर से सुर्खियों में आ गया है.

बताया जा रहा है कि संगीतकार के कंकाल होने का विवादास्पद दावा वास्तव में प्रामाणिक हो सकता है. वैज्ञानिकों ने खोपड़ी से उसके चेहरे का पुनर्निर्माण किया था जिसके बाद यह बात सामने आई है, जिसमें एक हैरान करने वाली समानता सामने आई है.

बाख को वैसे तो उनके समकालीनों से सम्मान मिलता था,  लेकिन वे अपने जीवनकाल में मशहूर नहीं थे और उन्हें 1750 में जर्मनी के लीपज़िग में एक अचिह्नित कब्र में दफनाया गया था. मरने के बाद उनकी शोहरत आसमान छू गई, और अब उन्हें शायद सभी समय के सबसे महान संगीतकार के रूप में सम्मानित किया जाता है.

जबकि 2009 के एक अध्ययन ने नतीजा निकाला कि यह संगीतकार से संबंधित होने की “संभावना नहीं” थी, अब वैज्ञानिकों ने कंकाल के चेहरे को फिर से बनाने के लिए खोपड़ी का उपयोग किया है. और यह पता चला कि यह उनके जीवनकाल के दौरान चित्रित बाख के चित्र के साथ “काफी मेल” खाता है.

नए अध्ययन के मुख्य लेखक सिसेरो मोरेस ने कहा, “मैं कभी भी किसी पेंटिंग और अनुमान के बीच बहुत अधिक अनुकूलता की उम्मीद नहीं करता. यह महज एक संयोग हो सकता है, हम केवल डीएनए परीक्षण जैसे अतिरिक्त डेटा के साथ ही सुनिश्चित हो पाएंगे. अभी के लिए, हम जो जानते हैं वह यह है कि खोपड़ी में ऐसी विशेषताएं हैं जो बाख को दी गई पेंटिंग से मिलती जुलती हैं.

लेकिन मोरेस मानते हैं कि प्रामाणिकता तो डीएनए या दंत चाप आदि का विश्लेषण करके पहचान  से ही हासिल की जाती है. ऐसे में नए संकेत अंतिम प्रमाण नहीं हो सकते, लेकिन विवाद तो एक बारि फिर चर्चित हो गया है.

Back to top button