लॉकडाउन: कपल्स रिश्तों का आनंद उठाने के लिए एक-दूसरे के प्रति संवेदनशील बनें
रिश्तों को सफल बनाना कोई जादू का काम नहीं है. कई छोटी-छोटी चीजों को लेकर कपल्स के बीच दूरियां आने लगती हैं. रिश्ते बहुत मेहनत, जिम्मेदारी और कोशिशों से निभाए जाते हैं. रिश्तों की खूबसूरती बनाए रखने के लिए हर कपल्स को ये 6 काम जरूर करने चाहिए.
एक-दूसरे के साथ दिल खोलकर हंसें क्योंकि हंसने से शरीर में ऑक्सीटोसिन हार्मोन बनता है जो मूड अच्छा रखता है. हमेशा हंसने वाले कपल साथ में बहुत खुश रहते हैं.
यह लोग हंसते-मुस्कुराते जीवन की कई मुश्किलों का आसानी से सामना कर लेते हैं. अगर आप भी अपने रिश्ते को सफल बनाना चाहते हैं तो एक-दूसरे को हंसाते रहें. इससे रिश्ते का जादू बरकरार रहेगा.
जो कपल हमेशा खुश रहते हैं वो एक-दूसरे के प्रति कोई दुर्भाव नहीं रखते हैं. हर रिश्ते में थोड़ी बहुत लड़ाईयां होती हैं लेकिन कोशिश करें कि सोने से पहले अपने मुद्दों को सुलझा लें ताकि अगले दिन की शुरूआत अच्छी हो. अपनी भावनाओं को खुलकर एक-दूसरे के सामने रखें ताकि आपका पार्टनर आगे से उन बातों का ध्यान रख सके.
रिश्तों का आनंद उठाने के लिए एक-दूसरे के प्रति संवेदनशील बनें और हर पल का साथ में लुत्फ उठाएं. आप रिश्तों की गहराई में तब तक नहीं जा पाएंगे जब तक आप अपने पार्टनर के साथ खुलकर जिंदगी को नहीं जिएंगे. एक-दूसरे से अपने डर, खुशी और तनाव सब चीजों के बारे में बात करें. इससे आपका रिश्ता और मजबूत होगा.
चीजों को पार्टनर से छिपाना आपके रिश्ते के लिए नुकसानदायक हो सकता है. खासतौर से कोई ऐसी बात जो आपने अपने पार्टनर से ना बताई हो और वो उन्हें किसी और से पता चले.
पैसे-रूपयों, रिश्तेदारों या घर के किसी और सदस्य से जुड़ी कोई भी बात जो आपको परेशान कर रही हो, उसकी चर्चा अपने पार्टनर से करें. अगर आप एक-दूसरे को अच्छे से समझते हैं तो वो आपकी इन बातों को भी समझेंगे.
हर कोई चाहता है कि वो अपनी बात खुलकर कह सके. अपने साथी को उसकी बात रखने का पूरा मौका दें और जब वो अपनी बात रख रहे हों तो बिना बीच में टोके ध्यान से उनकी बातें सुनें.
सफल रिश्ते की यही पहचान होती है कि पार्टनर को पता होता है कि उसे कब बोलना है और कब खुद को रोकना है. एक-दूसरे की बात काटने से बात पूरी नहीं होती और रिश्ते में भी कड़वाहट आने लगती है.
रिश्ते को सफल बनाने के लिए एक-दूसरे को स्पेस दें. पार्टनर के सपनों और मंजिल की तरफ बढ़ने में उनका साथ दें. जरूरी नहीं कि आप दोनों के विचार एक जैसे ही हों. एक-दूसरे की असहमति को भी सम्मान से स्वीकारें. इससे आप एक-दूसरे के सामने खुलकर अपने विचार व्यक्त कर सकेंगे.