कानपुर: नकली दवाएं बेच रहे मेडिकल स्टोर संचालक, खर्च बचाने के लिए दवा में खिला रहे चूना-खड़िया
कानपुर में कई मेडिकल स्टोर संचालक शुगर, बुखार, गैस की नकली दवाएं बेच रहे हैं। बिरहाना रोड स्थित निगम ब्रदर्स और मेडीलाइफ एजेंसी की दवाएं जांच में फेल हो गईं। इनमें सॉल्ट बिल्कुल नहीं पाया गया। एक दवा जीरोडॉल एसपी में सौ में सिर्फ सात प्रतिशत ही सॉल्ट मिला। सॉल्ट की जगह खड़िया और चूना पाया गया।
ड्रग इंस्पेक्टर रेखा सचान ने बताया कि आठ अगस्त को बिरहाना रोड के ज्ञानवीर निगम ब्रदर्स के यहां 15 और रिजुल गुप्ता मेडीलाइफ एजेंसी के यहां तीन नमूने लिए गए थे, जिसमें छह नमूने फेल पाए गए। रिपोर्ट आते ही मेडिकल स्टोर के क्रय विक्रय पर रोक लगा दी गई है। अभी नौ नमूनों की रिपोर्ट आनी बाकी है।
वहीं, ड्रग विभाग ने केपीएम अस्पताल से भी 16-17 तरह के नमूने इकट्ठे किए गए हैं। उन्हें जांच के लिए लखनऊ प्रयोगशाला भेजा गया है। रेखा सचान ने बताया कि मॉन्टेयर एलसी एलर्जी, डायबिटीज ग्लिमस्टार, एसीलॉक आरडी गैस, काइमोरल फोर्ट टेबलेट, मोनटेर एफएक्स टेबलेट के सैंपल नकली मिले।
12 तरह की दवाओं की रिपोर्ट आनी बाकी
काइमोरल फोर्ट के दो अलग-अलग बैच थे। इसमें सॉल्ट बिल्कुल भी पाया नहीं गया। वे इन दवाओं में खड़िया या चूने का इस्तेमाल कर रहे थे। 18 नमूनों में से छह की रिपोर्ट आ गई है। इस सभी नमूने जांच में फेल पाए गए हैं। हाईपरटेंशन सहित अभी 12 तरह की दवाओं की रिपोर्ट आनी बाकी है।
पैकेजिंग देख और बिल न दे पाने पर हुआ शक
ड्रग इंस्पेक्टर ओमपाल सिंह ने बताया कि बिरहाना रोड पर रुटीन जांच में मेडीलाइफ एजेंसी से मॉन्टेयर एलसी और ग्लिमस्टार जैसी दवाईयों की पैकेजिंग कुछ अलग सी लगी। दवाओं के बिल मांगे, तो उन्होंने निगम ब्रदर्स के यहां का सैंपल दे दिया। निगम ब्रदर्स दवाओं का बिल नहीं दे सके।
इनके लाइसेंस किए जाएंगे निरस्त
तुरंत ही हमारी टीम ने दोनों जगहों से कुल 18 सैंपल इकट्ठे किए और लखनऊ प्रयोगशाला में जांच के लिए भेजे। इसमें छह की रिपोर्ट आ गई और सभी दवाइयां नकली मिली हैं। इसके अलावा कुछ दवाइयों की रिपोर्ट आनी बाकी है। अभी दोनों ही मेडिकल स्टोर की क्रय-विक्रय पर रोक लगा दी गई है। इनके लाइसेंस निरस्त किए जाएंगे। जो लोग भी दवाई खरीदें पैकेजिंग अच्छे से देखने के साथ ही बिल जरूर लें।
केपीएम अस्पताल से भी लिए सैंपल
ड्रग विभाग की ओर से केपीएम अस्पताल की दवाओं के नमूने लिए गए। अस्पताल से एंटीबायोटिक, गैस, वायरल आदि दवाओं के नमूने लेकर लखनऊ प्रयोगशाला में जांच के लिए भेजे गए हैं। ड्रग इंस्पेक्टर ओमपाल सिंह ने बताया कि अस्पताल में 16-17 प्रकार के नमूने इकट्ठे किए गए हैं। रिपोर्ट 60 दिन के भीतर आएगी।