जम्मू-कश्मीर में शहीद हुए उत्तराखंड के जवानों का सैन्य सम्मान के साथ किया गया अंतिम संस्कार

देहरादूनः जम्मू-कश्मीर के पुंछ जिले में चार दिन पहले सेना के वाहन पर हुए आतंकी हमले में मारे गए उत्तराखंड के दो जवानों- गौतम कुमार और वीरेंद्र सिंह का सोमवार को उनके गांवों में पूरे सैन्य सम्मान के साथ अंतिम संस्कार किया गया।
बृहस्पतिवार दोपहर हुए हमले में मारे गए दोनों जवानों के शव सुबह यहां के निकट जौलीग्रांट हवाई अड्डे पर लाए गए, जहां से उन्हें उनके पौड़ी जिले के कोटद्वार तथा चमोली जिले के नारायणबगड़ पहुंचाया गया। हवाई अड्डे पर मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने उनकी पार्थिव देह पर पुष्पचक्र अर्पित कर उन्हें श्रद्धांजलि दी। कोटद्वार के शिवपुर क्षेत्र में स्थित आवास पर गौतम कुमार का तिरंगे में लिपटा शव सुबह लगभग 11 बजे सेना के विशेष हेलीकॉप्टर से पहुंचाया गया, जहां उनके अंतिम दर्शन के लिए क्षेत्र के गणमान्य लोगों के साथ ही हजारों की संख्या में आम लोगों भी उमड़ पड़े।
उत्तराखंड विधानसभा की अध्यक्ष तथा स्थानीय विधायक ऋतु खंडूड़ी और पौड़ी के जिलाधिकारी डॉ. आशीष चौहान ने भी गौतम कुमार के शव पर पुष्प चक्र चढ़ाकर उन्हें श्रद्धांजलि दी। गौतम कुमार के शव को घर से सेना के विशेष वाहन से खोह नदी किनारे मुक्ति धाम ले जाया गया, जहां सलामी गारद देने के बाद नम आंखों के बीच उनके बड़े भाई राहुल ने उन्हें मुखाग्नि दी। शोक में कोटद्वार बाजार दोपहर तक बंद रहा । दूसरी तरफ, चमोली जिले के बमियाला गांव के निवासी जवान वीरेंद्र सिंह का अंतिम संस्कार नारायणबगड़ के त्रिवेणी संगम पर पूरे सैनिक सम्मान के साथ किया गया। सेना के बैंड के साथ निकली जवान की शव यात्रा में पिंडर घाटी के हजारों लोग शामिल हुए। त्रिवेणी संगम पर सेना के सशस्त्र जवानों ने हवा में तीन राउंड फायरिंग कर अपने जांबाज साथी को अंतिम सलामी दी। जवान के बडे भाई धीरेंद्र सिंह ने उन्हें मुखाग्नि दी।
इससे पहले, जौलीग्रांट हवाई अड्डे पर दिवंगत जवानों को श्रद्धांजलि देने पहुंचे धामी ने कहा कि देश की रक्षा के लिए अपने प्राण न्यौछावर करने वाले हमारे इन शहीदों को देश हमेशा याद रखेगा। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार हर पल सैनिक परिवारों के साथ खड़ी है। उन्होंने कहा कि राष्ट्र रक्षा के लिए हमारे जवानों द्वारा दिया गया बलिदान सदैव हम सभी को राष्ट्र सेवा के लिए प्रेरित करता रहेगा।