समय रहते पता लगाएं सर्वाइकल कैंसर का तभी संभव है इलाज, जानिए इसके 5 महत्वपूर्ण लक्षण

कैंसर एक गंभीर बीमारी है. इस बीमारी का पता अगर शुरुवात में चल जाए तभी इसे ठीक किया जा सकता है. देर होने पर इसका इलाज मुश्किल है. कैंसर की बीमारी में असामान्य सेल्स बनने लगते हैं जो बॉडी में मौजूद टिशूज़ को धीरे-धीरे नष्ट कर देते हैं. आप जानकर हैरान हो जायेंगे कि कैंसर के कुल 100 प्रकार होते हैं. कैंसर के लक्षण असामन्य ब्लीडिंग, शरीर में गांठ, कम वजन होना, कफ़ आदि हो सकते है. फैक्ट्स की बात करें तो भारत में कैंसर के मरीजों की संख्या लगभग 14.5 लाख है और हर साल इसके 7 लाख नए मामले आते हैं. 30 से 69 उम्र के लोगों में कैंसर से मरने का ख़तरा आम लोगों की तुलना में 71 फ़िसदी ज़्यादा है. कैंसर के कई कारण हो सकते हैं. पर कुछ कैंसर की वजह तो हमारी कल्पना से भी परे होता है. लेकिन आज हम बात करेंगे महिलाओं में होने वाली सर्वाइकल कैंसर की. गर्भाशय में कोशिकाओं की असामन्य वृद्धि को सर्वाइकल कैंसर कहते हैं. यह कैंसर दुनिया का सबसे आम कैंसर है और इसके दुनियाभर में हर साल लगभग 5 लाख मामले सामने आते हैं.
महिलाओं में यह कैंसर उनके प्रजनन काल के दौरान होता है. ज़्यादातर यह 30 से 34 साल की उम्र की महिलाओं को होता है और 55-65 तक यह अपनी पकड़ मजबूत बना लेता है. समय रहते इसका पता चल जाने पर इलाज संभव है. HPV संक्रमण से जो सर्वाइकल कैंसर होता है वह यौन संबंध के माध्यम से फैल भी सकता है. इसके अलावा लंबे समय तक गर्भनिरोधक गोलियों का सेवन करना भी आपको इसका शिकार बना सकता है. इतना ही नहीं, स्मोकिंग की लत या फिर पास्ट में हैवी स्मोकिंग करने से भी कैंसर होने की संभावना रहती है. शुरुवात में इसके लक्षण पहचानने में बहुत मुश्किल होती है लेकिन एडवांस स्टेज में इसे कुछ लक्षणों द्वारा पहचानना आसान हो जाता है. सर्वाइकल कैंसर के ऐसे ही कुछ लक्षणों के बारे में आज हम आपको बताने जा रहे हैं जिसे हर महिला को पता होना चाहिए.
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श्रोणि-क्षेत्र में लगातार दर्द
यदि आप गर्भाशय क्षेत्र में दर्द का एहसास करती हैं तो यह सर्वाइकल कैंसर का एक लक्षण हो सकता है. इसमें आपको लगातार दर्द का एहसास होगा. पेशाब करने पर या फिर संबंध बनाने पर श्रोणि क्षेत्रों में दर्द का एहसास हो तो तुरंत जाकर डॉक्टर से मिलें.
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