अगर चाहिए शिव मंदिर से सम्बंधित सबूत, तो खोलने होंगे ताज के बंद हिस्से
ताज या तेजोमहालय (शिव मंदिर) से संबंधित मामले में वादी अधिवक्ता ने कहा है कि अगर स्मारक के बंद तहखानों को खोला जाए, तो शिव मंदिर के साक्ष्य मिल सकते हैं। उन्होंने इस मांग से संबंधित प्रार्थना पत्र कोर्ट में दिया है। साथ ही साक्ष्य एकत्रित करने के लिए जनरल कमिश्नर नियुक्त करने की मांग अदालत से की है।
लखनऊ के हरीशंकर जैन व अन्य की तरफ से अपर सिविल जज थर्ड सीनियर डिवीजन के यहां अधिवक्ता राजेश कुलश्रेष्ठ द्वारा दो वर्ष पहले वाद दायर किया गया था। इसमें ताज को तेजोमहालय बताते हुए शिव मंदिर घोषित करने की मांग की गई है। बुधवार को सुनवाई के दौरान वादी अधिवक्ता राजेश कुलश्रेष्ठ ने अदालत को जनरल कमिश्नर नियुक्त करने के लिए प्रार्थना पत्र दिया।
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इसके साथ ही जनरल कमिश्नर की निगरानी में सात मंजिला ताज के खुले व बंद हिस्सों की वीडियोग्राफी व फोटोग्राफी कराने की अनुमति मांगी। इस पर भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण (एएसआइ) और भारत सरकार ने जवाब दाखिल करने के लिए समय की मांग की। जज अभिषेक सिन्हा ने इस पर सुनवाई की अगली तिथि 16 नवंबर तय की।