अपने घर की महिलाओं को भूलकर भी ना करने दें ये काम, वर्ना बर्बाद हो सकता है परिवार का भविष्य

भारतीय समाज में स्त्री और पुरुष के लिए कुछ मानक तैयार किये गये हैं जिसका पालन लोग बीते कई वर्षों से करते आये हैं. इस बात की चर्चा करते हुए बीते दिनों इंदौर में भगवत कथा के दौरान महँ संत देवकी नंदन ठाकुर ने स्त्री पुरुष के कुछ मानकों के बारे में बताते हुए कहा है की हमारे समाज में स्त्रियों को खासकरके कुछ मर्यादाओं का पालन अवश्य करना चाहिए वर्ना ये आपके पूरे परिवार को बर्बादी के रास्ते पर ले जा सकता है. आज हम आपको देवी नंदन ठाकुर द्वारा बताये गये कुछ ऐसे ही मर्यादाओं के बारे में बताने जा रहे हैं जिनका पालन हर घर की स्त्री को आवश्य करनी चहिये.

अपने घर की महिलाओं को भूलकर भी ना करने दें ये काम, वर्ना बर्बाद हो सकता है परिवार का भविष्यमहिलाओं को खासकरके इन मर्यादाओं को कभी नहीं लांघना चहिये

आज हम आपको देविनंदन ठाकुर द्वारा भगवत कथा के दौरान स्त्रियों के कुछ मर्यादा पालन के संदर्भ में कुछ ख़ास बातें कही गयी है जिनका पालन हर स्त्री को अवश्य करनी चाहिए. तो आईये आपको बताते हैं की एक महिला को इपनी और अपनी घर की इज्जत को पाक साफ़ रखने के लिए किन सीमाओं को कभी नहीं लांघना चहिये.

शराब पीना

मनुस्मृति के अनुसार महिलाओं को कभी भी शराब का सेवन नहीं करना चहिये क्यूंकि ऐसा अकरने से अक्सर महिलाएं अपने मर्यादा की सीमा भूल बैठती है और कोई आचरण हीन काम कर बैठती हैं. शराब का सेवन आपके परिवार के साथ साथ समाज के लिए भी बेहद खराब सिद्ध हॉट अहै इस्लिएय स्त्री हो या पुरुष दोनों को ही शराब का सेवन नहीं करना चहिये. शराब पीने के बाद लोगों को अच्छे बुरे की समझ नहीं रहती है इसलिए शराब का सेवन हर किसी के लिए हानिकारक बताया गया है.

दुष्ट पुरुषों से दोस्ती

महिलाओं को खासकरके दुष्ट पुरुषों से कभी भी मेल जोल नहीं बढ़ाना चहिये क्यूंकि ऐसा करने से वो खुद अपने लिए ही मुसीबत मोल ले लेती है. दुष्ट और चतुर पुरुष अक्सर महिलाओं से दोस्ती केवल अपने निजी हित के लिए करते हैं और एक बार वो पूरा हो जाने पर महिलाओं को बाद में काफी पछताना पड़ता है इसलिए आवश्यक है की महिलाएं ऐसे पुरुषों से दूर ही रहे और अपनी रक्षा खुद करें. दुष्ट और चतुर पुरुषों की सांगत में रहने से उस स्त्री का स्वभाव भी वैसा ही हो जाता है इसलिए जरूरी है की स्त्री ऐसे पुरुषों से दूर ही रहें.

पति से अलग रहने वाली महिला
आपको बता दें की की वैसी महिलाएं जी किसी करण वश अपने पति से अलग रहती हैं उनमे चारित्रिक दोष अधिक पाया जाता है. महिलाओं को कभी भी अपने पति को ऐसी अवस्था में नहीं छोड़ना चहिये जब वो बीमार हों या फिर किसी मुसीबत में फंसे हों. ऐसे समय में एक स्त्री को अपने पति का साथ कभी नहीं छोड़ना चहिये वर्ना समाज उसके चरित्र पर सवाल उठा सकता है.

बेकार में इधर उधर घूमना

ऐसी महिलाएं जो बेकार में ही इधर उधर घुमती रहती हैं उन्हें भी समाज के लिए अच्छा नहीं माना जाता है. स्त्रियों को बिना मतलब ही कभी भी यहाँ वहां नहीं घूमना चहिये. अगर ऐसी स्त्रियाँ खासकरके शादी शुदा होती हैं तो उन्हें विशेष रूप से कभी भी ऐसा नहीं करना चहिये क्यूंकि इस उनके मायके और ससुराल दोनों जगह की बदनामी होती है.

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