गोंडा: नियम विरुद्ध की खरीदारी करने पर सीएमओ समेत आठ फंसे

चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग में दवाइयों और मेडिकल उपकरणों की खरीद-फरोख्त में बड़ी अनियमितता सामने आई है। सीडीओ की जांच में तीन करोड़ 93 लाख रुपये की खरीद में खेल करते हुए चहेते लोगों को ठेका देकर सरकारी धन का बंदरबांट करने का खुलासा हुआ है। एक ही व्यक्ति से संबंधी अलग-अलग फर्माें के बीच टेंडर कराना, स्टेट बजट में बिना टेंडर कराए टुकड़ों में वर्क ऑर्डर बांट देने सहित 14 बिंदुओं की रिपोर्ट में सीएमओ डॉ. रश्मि वर्मा समेत आठ लोगों पर प्रथमदृष्टया वित्तीय अनियमितता के आरोप लगे हैं।
मंडलायुक्त योगेश्वरराम मिश्र के आदेश पर सीडीओ एम. अरुन्मोली, नगर मजिस्ट्रेट चंद्रशेखर और जिला पंचायत के वित्त एवं लेखाधिकारी कामेश्वर प्रसाद ने एक अप्रैल 2023 से 31 अगस्त के बीच स्वास्थ्य विभाग में खरीद-फरोख्त की जांच की। जांच रिपोर्ट में सीएमओ डॉ. रश्मि वर्मा, एसीएमओ एनएचएम भंडार डॉ. आदित्य वर्मा, तत्कालीन सीएमएस जिला अस्पताल डॉ. पीडी गुप्ता, तत्कालीन प्रभारी सीएमएस महिला अस्पताल डॉ. अमित त्रिपाठी के अलावा एनएचएम पटल सहायक मनोज सिंह, जिला लेखा प्रबंधक संदीप मेहरोत्रा, वित्त व लेखाधिकारी श्रीराम मौर्य व सीएमएसडी स्टोर इंचार्ज घनश्याम पांडेय को प्रथम दृष्टया वित्तीय अनियमितता का आरोपी माना गया है। जांच में पाया गया कि फर्म मेट्रो प्रिंटर से 26,56,957 रुपये का फ्लैक्स, बैनर व प्रिंटिंग का कार्य लिया गया। चहेते को लाभ दिलाने के लिए 20 फर्मों में से 10 को बिना विशेषज्ञ की राय लिए ही अयोग्य बताकर हटा दिया गया। जिन तीन फर्माें के बीच टेंडर कराया गया, वह सभी एक ही व्यक्ति से संबंधित रहीं।
मेसर्स जेएस फार्मा से 31 लाख 60 हजार, 94,39,710 व 80,55630 रुपये से जांच किट व अन्य मेडिकल उपकरण खरीदे गए। जिसमें गैप एनालसिस कराए बिना क्रय व भुगतान की फाइल अनुमोदित कर दी गई। दो बिडों में क्रय के लिए आरए नहीं कराया गया। इसी प्रकार जेएस फार्मा को 49,37850 रुपये व 16,12,500 रुपये का काम दिया गया। जिसमें क्रय व भुगतान संदेहपूर्ण मिला। इसी प्रकार मेट्रो प्रिंटर्स से 6,94884 व 27,45,380 रुपये का काम लिया गया। जिसमें बिल भुगतान व सामग्री अलग-अलग मिली। वहीं, स्टेट बजट को बिना जेम पर टेंडर कराए टुकड़ों में बांटकर वर्क आर्डर दे दिया गया। इसी प्रकार जेएस फार्मा से 56,57,925 रुपये की खरीद व मेसर्स विनीत इंटरप्राइजेज से 164770 व 4,21,655 रुपये की खरीद-फरोख्त को त्रुटिपूर्ण बताया गया।
कार्रवाई के लिए शासन को भेजी रिपोर्ट
वित्तीय अनियमितता में शामिल सभी लोगों के खिलाफ कार्रवाई के लिए शासन को रिपोर्ट भेज दी गई है। जल्द ही शासन स्तर से दोषियों के खिलाफ जरूरी कार्रवाई की जाएगी।