अजीब खूबियों से भरपूर होता है बांस, पेड़ नहीं है ये…
पेड़ पौधों में जब भी बांस का जिक्र होता हो एक अजीब से पौधे का ध्यान आता है जो बहुत तेजी से बढ़ता है. यह एक बहुत सारी उपयोगी चीजें देने वाला माना जाता है. कई जगह इसकी खेती भी होती है. इस तथ्य को बहुत ही कम लोग जानते हैं कि बांस का पेड़ नहीं होता है. मजबूत तना होने के बावजूद तकनीकी तौर पर बांस एक पेड़ नहीं होता है, बल्कि यह एक प्रकार की घास होता है. फिर भी बांस बारे में कई रोचक तथ्य ऐसे हैं जिन्हें लोग नहीं जानते.
बांस के बारे में सबसे लोकप्रिय बात जो लोगों को पता है कि वह यह है कि ये बहुत तेजी से बढ़ता है. बांस की कई प्रजातियां ऐसी हैं जो एक घंटे में डेढ़ इंच तक बढ़ जाता है. लेकिन इससे भी मजेदार बात यह है यह जमीन से ऊगने में बहुत वक्त लगाता है और केवल 60 दिन तक बढ़ता है. इसके बाद इसके हिस्से ही मजबूत होते रहते हैं.
बांस ऐसी घास है जो खुद को ठीक कर सकती है. जी हां हकीकत यह है कि बांस काटने से बढ़ने लगता है. इसके पास की छोटी टहनी काटने पर इसकी नई पत्तियां उगने लगती है. ये नई पत्तियां नई कोंपलों के लिए और ऊर्जा जड़ों की ओर भेजती हैं. ज्यादा कटने पर यह तेजी से बढ़ता है. इस लिहाज से यह एक अक्षय ऊर्जा का स्रोत बन जाता है.
बांस की वृद्धि दर अविश्वसनीय है. लेकिन यह वायुमंडल से कार्बन सोखने में भी बहुत तेज रहते हैं. एक आंकलन के अनुसार अगर सही तरह से खेती की जाए तो बांस हर साल 1.78 टन का कार्बन अवशोषित कर सकते हैं. इसका मतलब ये हुआ कि दूरे पेड़ों की तुलना में बांस दस गुना अधिक कार्बन अवशोषित करता है.
बांस की घनी जड़े पानी को कारगर तरीके से रोकने में सक्षम होती हैं. वास्तव में समुद्र के किनारे बसे गांव अपनी फसलों को जमीन के नीचे बढ़ते जलभराव से बचाने के लिए खेतों के पास बांस लगाते हैं. बांस जैविक पदार्थ को छान सकते हैं, पानी के बहाव को धीमा कर सकते हैं.
बांस में भारी मात्रा में सिलिकेट ऐसिड होता है. यह उसे असामान्य रूप से अग्निरोधक बनाता है. यह दुनिया में उन जंगलों के लिहाज से अच्छी खबर है जहां बार बार आग लगती रहती है. एक्सपर्ट्स मानते हैं कि अगर सही तरह से बांस के पेड़ जंगलों में लगाए जाएं तो जंगलों की आग को फैलने से रोका जा सकता है.
बांस को मिट्टी को बहने से रोकने में बहुत ही ज्यादा कारगर पाया गया है. इसकी जड़े मिट्टी में इतनी घनी होती हैं कि वे मिट्टी की ऊपरी परत को बहुत अच्छे से बांध लेती है. इससे मृदा अपरदन को रोकने में बहुत अधिक मदद मिलती है. वहीं इसके तनों का घना होना बारिश को सीधे मिट्टी पर आने नहीं देते जिससे मिट्टी का बहना काफी हद तक रुक जाता है.
बांस को खाया भी जाता है. इसके रेशों से बना फाइबर कपड़े बनाने के काम आ सकता है. इसके कंक्रीट रीइन्फोर्समेंट में उपयोग में ला जाता है यानी इसे कंक्रीट में लोहे की जगह इस्तेमाल कर वही नतीजे हासिल किए जा सकते हैं. मवेशियों के लिए इसकी पत्तियां चारे की तरह काम में आती हैं. फर्नीचर तो इसका एक बेहतरीन उपयोग है ही.