अद्भुत… इस लड़की ने 23 साल से नहीं खाया अन्न, फिर भी पूरी तरह है फिट

कहा जाता है कि अगर जन्म से कोई अलौकिक शक्ति के साथ पैदा होता है तो उसे भगवान का अवतार माना जाता है. कुछ ऐसा ही जीवन अलीगढ़ की एक लड़की जी रही है.  यहां के सरसौल इलाके में रहने वाली 23 साल की कृष्ण शर्मा ने अपने अनोखे आहार और जीवनशैली से सबको हैरत में डाल दिया है. उनका दावा है कि जन्म से लेकर अब तक उन्होंने कभी अन्न ग्रहण नहीं किया, फिर भी वह पूरी तरह स्वस्थ और सक्रिय हैं. उनका यह जीवनशैली चिकित्सा और विज्ञान की दुनिया के लिए एक रहस्य बनी हुई है.

कृष्ण शर्मा की ये असाधारण कहानी न केवल उनके परिवार और पड़ोसियों के लिए चौंकाने वाली है, बल्कि चिकित्सा विशेषज्ञों और शोधकर्ताओं को भी सोचने पर मजबूर कर रही है. जहां आम इंसान के लिए अन्न ऊर्जा और पोषण का मुख्य स्रोत माना जाता है, वहीं कृष्ण की जीवनशैली इस धारणा को चुनौती देती है.

अनोखी जीवनशैली
कृष्ण शर्मा ने बताया कि उन्होंने बचपन से ही अन्न नहीं खाया. वह केवल फल और जूस पर जीवन यापन करती हैं. उनका कहना है कि अगर वह अन्न से बना कुछ भी खाती हैं, तो उनकी तबीयत बिगड़ जाती है. एक बार उनके पिता ने उन्हें रोटी खिलाने की कोशिश की थी, जिससे उनकी तबीयत इतनी खराब हो गई कि उन्हें अस्पताल में भर्ती होना पड़ा.

भगवान का आशीर्वाद
कृष्ण का मानना है कि उनके इस असाधारण आहार के पीछे भगवान का आशीर्वाद है. वह भगवान में गहरी आस्था रखती हैं और मां वैष्णो देवी की भक्त हैं. उन्होंने कहा, “मुझे कभी अन्न खाने की भूख नहीं लगती और ना ही मैंने कभी अन्न खाया है. मुझे कभी कोई कमजोरी या बीमारी महसूस नहीं होती.”

शिक्षा और भविष्य की योजनाएं
कृष्ण शर्मा ने अलीगढ़ के विवेकानंद कॉलेज से कंप्यूटर साइंस में बीटेक की डिग्री हासिल की है और अब वह आईएएस की तैयारी कर रही हैं. उनका सपना है कि वह एक दिन कलेक्टर बनें. उनके परिवार में छह बहन-भाई हैं, और वह दूसरे नंबर पर हैं. उनके पिता धीरेन्द्र शर्मा ट्रांसपोर्ट का छोटा सा बिजनेस करते हैं, जबकि उनकी मां रेखा शर्मा एक हाउसवाइफ हैं.

डॉक्टरों की राय
इस अनोखी स्थिति पर टिप्पणी करते हुए, अलीगढ़ के डॉक्टर विकास मल्होत्रा ने बताया कि अगर कोई व्यक्ति अपने आहार में केवल फल, मेवा, जूस और नींबू पानी का इस्तेमाल करता है, तो वह बिना अन्न खाए भी जीवित रह सकता है. हालांकि, कृष्ण की स्थिति दुर्लभ और अनोखी है, जो चिकित्सा के क्षेत्र में एक अध्ययन का विषय हो सकती है.

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