महाभियोग के बाद दक्षिण कोरिया के राष्ट्रपति पर गिरफ्तारी की तलवार

दक्षिण कोरिया के राष्ट्रपति यून सुक येओल के सुरक्षा प्रमुख पार्क चोंग-जुन ने रविवार को कहा कि वह महाभियोग लगाए गए नेता की गिरफ्तारी के प्रयासों में सहयोग नहीं कर सकते। उनकी यह टिप्पणी राजनीतिक संकट को एक और बड़े टकराव की ओर ले जा सकती है।

विद्रोह के आधार पर यून के विरुद्ध जारी गिरफ्तारी वारंट की मियाद सोमवार आधी रात को समाप्त होने वाली है और पार्क चोंग-जुन ने इस वारंट को लेकर जारी कानूनी बहस को सहयोग नहीं का कारण बताया। उन्होंने एक बयान में कहा कि कृपया ऐसी अपमानजनक टिप्पणी करने से बचें कि राष्ट्रपति सुरक्षा सेवा को एक निजी सेना में बदल दिया गया है।

कोर्ट के फैसले को चुनौती देने की तैयारी

उन्होंने कहा कि राष्ट्रपति सुरक्षा सेवा ने 60 वर्षों तक राजनीतिक संबद्धता की परवाह किए बिना सभी राष्ट्रपतियों को सुरक्षा प्रदान की है। पार्क चोंग-जुन की यह टिप्पणी सियोल की एक अदालत द्वारा यून के वकीलों की उस शिकायत को खारिज करने के बाद आई है जिसमें कहा गया था कि गिरफ्तारी वारंट अवैध और अमान्य है। यून की कानूनी टीम इस फैसले को चुनौती देने पर विचार करेगी।

वहीं, यून को सलाह देने वाले वकील सियोक डोंग-हेयोन ने फेसबुक पर कहा कि किसी भी कानूनी व्याख्या और क्रियान्वयन की वैधता का आकलन करना मुश्किल है। यदि मौजूदा राष्ट्रपति के विरुद्ध कानूनी एजेंसियों की वैधता में कोई त्रुटि है, तो यह एक बड़ी समस्या होगी।

राष्ट्रपति को गिरफ्तारी का सामना करना पड़ सकता है

यून दक्षिण कोरिया के ऐसे पहले राष्ट्रपति बन गए हैं जिन्हें तीन दिसंबर को मार्शल ला घोषित करने के अपने असफल प्रयास के लिए गिरफ्तारी का सामना करना पड़ सकता है। कंजरवेटिव राष्ट्रपति पर संसद में महाभियोग लगाया गया और उन्हें सरकारी दायित्वों से निलंबित कर दिया, हालांकि संवैधानिक अदालत अभी तय करेगी कि उन्हें बहाल किया जाए या हटाया जाए।

यून के वकीलों का कहना है कि वारंट असंवैधानिक है, क्योंकि उनके विरुद्ध आपराधिक मामले की जांच कर रहे भ्रष्टाचार विरोधी बल को दक्षिण कोरियाई कानून के तहत विद्रोह के आरोपों से जुड़े मामले की जांच करने का अधिकार नहीं है।

बर्फबारी के बीच रातभर लोगों ने किया प्रदर्शन

राजधानी सियोल में शनिवार रात भारी बर्फबारी के बीच यून के सरकारी आवास के पास हजारों लोगों ने प्रदर्शन किया। कुछ प्रदर्शनकारी उनकी गिरफ्तारी की मांग कर रहे थे, जबकि अन्य इसका विरोध कर रहे थे। कुछ प्रदर्शनकारी रातभर सियोल के डाउनटाउन में जमे रहे, जहां तापमान शून्य से पांच डिग्री सेल्सियस नीचे चला गया था।

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