अमेरिका ने की पाकिस्तान की तारीफ, भारत की उम्मीदों पे फिरा पानी

पाकिस्तानी सुरक्षा बलों द्वारा एक अमेरिकी-कनाडाई दंपती को हक्कानी आतंकी नेटवर्क से सुरक्षित मुक्त कराने के एक दिन बाद अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने कहा है कि उन्होंने पाकिस्तान के साथ बेहतर रिश्ते विकसित करने की शुरुआत कर दी है.
गौरतलब है कि अमेरिकी नागरिक कैटलान कोलमैन और उनके कनाडाई पति जोशुआ बॉयल को उनके तीन बच्चों के साथ हक्कानी नेटवर्क से गुरुवार को पाकिस्तानी सुरक्षा बलों ने सुरक्षित बचाकर बाहर निकाला. अमेरिकी अधिकारियों से मिली खुफिया सूचना के आधार पर पाकिस्तानी सुरक्षाबलों ने यह अभियान चलाया गया था. इस दंपती का अपहरण साल 2015 में अफगानिस्तान में उनके बैकपैकिंग ट्रिप के दौरान हुआ था. कैद में रहने के दौरान ही दंपत्ति के तीन बच्चों का जन्म हुआ था.
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पहले ट्रंप ने की थी आलोचना
ट्रंप ने इससे पहले पाकिस्तान की आलोचना उसके द्वारा आतंकवादियों को लगातार दिए जा रहे समर्थन की वजह से करते हुए चेतावनी दी थी कि अगर इस्लामाबाद का यही रवैया रहा तो उसे इसके परिणाम भुगतने होंगे. ट्रंप की यह टिप्पणी अगस्त में अफगान और दक्षिण एशिया नीति की घोषणा करने के दौरान आई थी.
अब ट्रंप ने की तारीफ
लेकिन, अब कई मोर्चों पर अमेरिका के साथ सहयोग करने के लिए ट्रंप ने पाकिस्तान को शुक्रिया अदा किया. ट्रंप ने शनिवार को एक ट्वीट में कहा, ‘पाकिस्तान और इसके नेताओं के साथ एक बेहतर रिश्ते का विकास शुरू हो रहा है. मैं कई मोर्चों पर उनके सहयोग के लिए धन्यवाद कहना चाहता हूं.’
इसी मुद्दे पर डेमोक्रेटिक सांसद टेड ल्यू ने कहा कि वह इस पर ट्रंप से सहमत हैं. उन्होंने ट्वीट किया, ‘आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई में पाकिस्तान महत्वपूर्ण सहयोगी है.’ आपको बता दें कि इससे पहले अमेरिका के उप राष्ट्रपति माइक पेंस ने अमेरिकी नागरिक को सुरक्षित मुक्त कराने के लिए पाकिस्तान की प्रशंसा की थी.
इसी बीच कनाडा की सरकार ने हक्कानी आतंकी नेटवर्स से सुरक्षित बाहर आने पर जोशुआ बॉयल, उनकी पत्नी कैटलन कोलमैन और तीनों बच्चों के कनाडा आने का स्वागत किया.
भारत ने अमेरिका को दी सलाह
वैसे तो ट्रंप की इस टिप्पणी को लेकर विदेश मंत्रालय का कोई आधिकारिक बयान नहीं आया, लेकिन सनडे एक्सप्रेस से बातचीत में विदेश मंत्रालय के एक अधिकारी ने इसे ट्रंप का ‘बहुत ही व्यवहारिक’ रवैया बताया है. उन्होंने कहा कि पाकिस्तान ने यह काम अपने ऊपर के दबाव को कम करने के लिए किया है. पाकिस्तान पहले भी ऐसे छोटे-छोटे काम कर अपने ऊपर के दबावों को कम करने की कोशिश कर चुका है. अखबार के मुताबिक यह बात कहने वाले अधिकारी ट्रंप और ओबामा दोनों की सरकार में कई मीटिंग में भारत की तरफ से जा चुके हैं.
उन्होंने कहा, “इस ट्वीट का मतलब यह नहीं है कि पाकिस्तान के साथ अमेरिकी संबंधों में सबकुछ डरावना है… लेकिन यह दर्शाता है कि उनके रिश्ते में बहुत कुछ गिव-एंड-टेक जैसा है. हमें किसी भी निष्कर्ष पर आने से पहले इसे ध्यान में रखना होगा.”
स्रोत के मुताबिक दिल्ली के दृष्टिकोण से यह महत्वपूर्ण है कि ट्रंप प्रशासन अपने इरादे से आगे निकल रहा है, जैसा कि दक्षिण एशिया की रणनीतियों पर अमेरिकी राष्ट्रपति के भाषण के दौरान नजर आया था. भारतीय अधिकारी ने कहा, “हिजबुल मुजाहिद्दीन और सैयद सलाहुद्दीन की लिस्टिंग करने (इंटरनेशनल टेररिस्ट के तौर पर) के प्रारंभिक संकेत काफी उत्साहजनक रहे हैं. अब यह देखना है कि अमेरिकी सरकार इस तरह की कार्रवाई आगे जारी रखती है या नहीं.”
उन्होंने इस मामले पर अपनी प्रतिक्रिया देते हुए कहा, “मुझे उम्मीद है कि इस तरह के छोटे और सीमित उपायों से अमेरिकी सरकार पाकिस्तान द्वारा ठगी नहीं जा सकती… अमेरिका को केवल एक उम्मीद है, और उसने अतीत से कुछ सबक भी लिए हैं, जब उन्होंने इसी तरह की कार्रवाइयां की थीं (अपहृत अमेरिकी दंपति के बचाव की तरह).”