बारिश से बिगड़े हालात…12वीं तक के सभी स्कूल बंद, डीएम का नया आदेश

लगातार हो रही बारिश से हालात बिगड़ रहे हैं। बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में संकट खड़ा हो गया है। वहीं उत्तर प्रदेश के कासगंज में जिलाधिकारी की ओर से मंगलवार को भी स्कूलों को बंद रखने के आदेश जारी किए गए हैं।
कासगंज में लगातार हो रही बारिश से जनजीवन अस्त-व्यस्त हो गया। जगह-जगह जलभराव हो जाने से लोगों को आवागमन में दिक्कत हुई। बाजार की चहल-पहल पर भी असर पड़ा। 24 घंटे में 99 मिमी औसत बारिश रिकार्ड की गई। सबसे अधिक 130 मिमी बारिश सहावर तहसील में दर्ज की गई। पटियाली तहसील क्षेत्र में 95 मिमी और कासगंज तहसील क्षेत्र में 72 मिमी बारिश हुई।
जिले में रविवार को सुबह 11 बजे से बारिश शुरू हुई। यह सिलसिला रुक-रुक कर दिन भर चला। मध्य रात्रि के बाद तेज गरज-चमक से साथ फिर बारिश हुई। बारिश से मामों के परिषदीय स्कूल में पानी भर गया। इसके अलावा शहर में फोरलेन मार्ग पर भाजपा कार्यालय के सामने, सोरोंगेट, बिलराम गेट, प्रभुपार्क, गांधी मूर्ति सहित तमाम इलाके जलमग्न हो गए। सुबह 9 बजे के बाद बारिश हल्की पड़ी, हालांकि दोपहर 12 बजे तक रुक-रुक कर बारिश होती रही। बारिश के चलते बाजार पर असर देखा गया। काफी कम संख्या में लोग बाजार में निकले।
देर से खुले तीर्थ नगरी के बाजार
तीर्थनगरी में बारिश से जगह-जगह जलभराव हो गया। इसका असर बाजार में देखा गया। आवागमन की समस्या होने के कारण व्यापारी अपने घरों से नहीं निकल सके। देर से बाजार खुले। ग्रामीण क्षेत्र के लोगों के न आने से बाजार में रौनक गायब रही। बारिश के कारण तीर्थनगरी के कसरेट बाजार, चौदहपोर, चौंसठ, बारु, चक्रतीर्थ आदि मोहल्लों में जल भराव से स्थानीय बाशिंदों की दुश्वारियां बढ़ गईं। चंदन चौक में जल निगम द्वारा पाइप लाइन डालने के बाद गड्ढे मिट्टी से भर दिए गए लेकिन निरंतर बारिश से गड्ढों की मिट्टी बैठ गई जिससे इन गड्ढों में कई दुपहिया वाहन फंस गए जो काफी मशक्कत के बाद निकाले जा सके।
जलभराव से जनजीवन पर असर
कस्बा में लगातार दूसरे दिन सोमवार को भी जमकर होने से जनजीवन पर असर देखा गया। कस्बा से लेकर गावों तक जल निकासी न होने से सड़कें तालाब में तब्दील हो गई। राहगीरों को पानी में होकर गुजरना पड़ा। नाले-नालियों की ठीक से सफाई न होने से जलभराव हुआ। पानी मकानों, दुकानों और गोदाम के अंदर भर गया, इससे लाेगों का नुकसान हो गया।। विद्यालयो परिसर में पानी भरने से दिक्कत हुई। नगर पंचायत ने इंजन ट्रॉली लगाकर जल निकासी कराई। बारिश के चलते कस्बाई और ग्रामीण क्षेत्र की विद्युत आपूर्ति ठप रही।
गंजडुंडवारा में ताल-तलैया बन गई सड़कें
क्षेत्र में 24 घंटे से लगातार होने वाली बारिश से सड़कें ताल-तलैया नजर आने लगी। सड़कों पर कई फिट पानी भर गया। नगर के रेलवे रोड ,हनुमान गढ़ी चौराहा ,सर्राफा बाजार ,सुदामापुरी रोड स्टेटबैंक रोड , थाना रोड ,मोहनपुर रोड शेरवानी स्कूल के सामने चोक सट्टी बाजार, मोहल्ला खेरू लालकुआ, नगला इमामबक्श, एटा रोड कादरगंज तिराहा सहित पूरा नगर जलमग्न हो गया। इससे लोगों की समस्याएं बढ़ गई।
स्कूलों में हो गया अवकाश
लगातार होने वाली बारिश को देखते हुए जिलाधिकारी प्रणय सिंह ने सुबह कक्षा 12 बजे तक स्कूल बंद करने के आदेश जारी कर दिए गए। आदेश मिलते ही स्कूल संचालकों ने विद्यालयों के ग्रुपों पर स्कूल बंद होने के संदेश डाल दिए, लेकिन काफी संख्या में बच्चे ऐसे भी रहे जिनको सूचना नहीं मिल सकी। वे स्कूल से बारिश में भीगते हुए घर लौटे।
आज भी बंद रहेंगे इंटर तक के विद्यालय
मौसम विभाग के मंगलवार को भी बारिश के अलर्ट को देखते हुए प्रशासन सतर्क हो गया है। जिलाधिकारी ने कक्षा 12 तक के सभी स्कूलों को बंद कर दिया है। जिले में लगातार बारिश हो रही है। बारिश के चलते जलभराव की स्थिति भी उत्पन्न हो रही है। मौसम विभाग ने मंगलवार को भी तेज बारिश की संभावना जताते हुए अलर्ट जारी किया है। इस अलर्ट को देखते हुए जिलाधिकारी प्रणय सिंह ने कक्षा 12 तक के माध्यमिक, बेसिक शिक्षा परिषद, सीबीएसई सहित सभी स्कूलों को बंद करने के आदेश जारी किए हैं।
पहाड़ों और मैदानी इलाकों में पिछले दिनों से हो रही लगातार बारिश से फिर से गंगा के सभी बैराजों का प्रवाह बढ़ा दिया है। इससे बाढ़ प्रभावित इलाकों में लोगों की मुसीबतें और बढ़ गई हैं। इन क्षेत्रों में बाढ़ का पानी करीब एक माह से अधिक से समय से भरा होने के कारण आम जनजीवन बेपटरी है। अब बारिश के पानी से वह इलाके भी जलमग्न हो गए हैं जो थोड़ा-बहुत सूखे थे। प्रभावित इलाकों में हालात लगातार बिगड़ते जा रहे हैं।
पहाड़ो की बारिश से गंगा के बैराजों पर पानी का दबाव बढ़ गया तो बैराजों से पानी का प्रवाह आगे की ओर बढ़ा दिया गया। हरिद्वार और बिजनौर बैराज से 24 घंटों में पानी का प्रवाह काफी बढ़ गया है। इसके असर से नरौरा बैराज से भी करीब 17 हजार क्यूसेक पानी का प्रवाह बढ़ गया है। बाढ़ की दुश्वारियों से जूझ रहे ग्रामीणों की मुश्किलें लगातार हो रही बारिश ने और बढ़ा दी हैं। राजेपुर कुर्रा की ग्राम प्रधान विनीता देवी ने बताया कि गांव में एक महीने से बाढ़ का पानी भरा हुआ है। गांव में बीमारी भी फैल रही है। ग्रामीण आम जरूरत की एक-एक चीज के लिए परेशान हो रहे हैं। फसलें पूरी तरह से बर्बाद हो गई हैं।
बारिश ने और परेशानियां बढ़ा दी हैं। ग्रामीण उठने, बैठने तक के लिए परेशान हैं। वहीं नरदौली की ग्राम प्रधान कुंती देवी ने बताया कि बाढ़ का पानी अभी तक नहीं निकल पाया है। बारिश से पानी और बढ़ गया है। ग्रामीण बेहद परेशान हैं। बीमारियां फैल रहीं हैं। हर घर में लोग बीमार हो रहे हैं।
ये गांव है प्रभावित हैं
गंगा की बाढ़ से पटियाली इलाके के नगला जैली, नगला चतुरी, कुसौल, जिझोल, पनसोती, अलीपुर भकुरी, रिकहरा, गठैरा, नरदौली पुख्ता मूंजखेड़ा, नगला हंसी, नगला जयकिशन, न्यौली फतुहाबाद, पीतमनगर हरौड़ा, राजेपुर कुर्रा, नगला तरसी, नगला खंदारी, नेथरा, इंद्राजसनपुर, मेहोला, नवाबगंज नगरिया, टिकुरी गठौरा सहित अन्य गांव प्रभावित हैं। वहीं सहावर के बाजनगर सफेद, अनिकापुर, अजीतनगर, उलाई, रफातपुर, शहवाजपुर, बमनपुरा, चकरा, नगला ढाव, नगला चोखे सहित आस पास के तमाम गांव बाढ़ से प्रभावित हैं।