ये है मुकेश अंबानी का ₹700000000000 का सबसे बड़ा रिस्क

जब मुकेश अंबानी (Mukesh Ambani Risk) ने 2016 में 70,000 करोड़ रुपये के निवेश से 5,000 शहरों और 2 लाख गांवों में जियो लॉन्चिंग से 4G बिछाने की योजना बनाई तो यह सबके लिए हैरान करने वाला था। खुद रिलायंस इंडस्ट्रीज के चेयरमैन मुकेश अंबानी (Mukesh Ambani Struggles) इसे सबसे बड़ा रिस्क स्वीकार किया है।
उस समय कई बड़े-बड़े दिग्गज को भी इस पर भरोसा नहीं हो रहा था। उनका अनुमान था कि अगले वित्त वर्ष तक जियो के 4 करोड़ सब्सक्राइबर होंगे और 2019-20 तक 2 अरब डॉलर के कैश फ्लो आएंगे।
वहीं, फिच ने कहा था कि जियो पहले साल में 2-3 करोड़ सब्सक्राइबर से ज्यादा नहीं जोड़ पाएगा, जबकि कंपनी का लक्ष्य 10 करोड़ का था। लेकिन डेटा रिवॉल्यूशन के बाद तस्वीर पूरी तरह बदल गई। जियो ने बाजार ही नहीं बदला, बल्कि रिलायंस के लिए ग्रोथ इंजन बन गया।
जियो बना रिलायंस का सबसे बड़ा ड्राइवर
पिछले 10 साल में रिलायंस का शेयर सालाना 22% की दर से बढ़ा है, जबकि निफ्टी 50 केवल 12% बढ़ा। बर्नस्टीन की रिपोर्ट के मुताबिक टेलीकॉम सेक्टर अगले दो सालों में 13% CAGR देगा। जियो के 2027 तक 50 करोड़ सब्सक्राइबर और 48% रेवेन्यू शेयर हासिल करने की उम्मीद है।
Q1 FY26 में जियो ने रिलायंस के EBITDA में 40% योगदान दिया। रिटेल को जोड़ दें तो कंपनी की आधी से ज्यादा कमाई इन दो कंज्यूमर बिजनेस से आती है। जियोस्टार, रिलायंस का डिजिटल वेंचर ने भी 11,222 करोड़ रुपये की कमाई की और 1.04 अरब ऐप डाउनलोड दर्ज किए। फिर भी, शेयर 4% गिरकर ₹1,415 पर है।
गिरावट क्यों?
Q1 में कंपनी का मुनाफा 78% बढ़कर ₹26,994 करोड़ हुआ, लेकिन इसमें एशियन पेंट्स की हिस्सेदारी बेचकर मिली ₹8,924 करोड़ की कमाई भी शामिल थी। इसे हटाने पर मोतिलाल ओसवाल के मुताबिक टैक्स के बाद मुनाफा ₹18,100 करोड़ रहा, जो उम्मीद से 10% कम था।
ऑयल-टू-केमिकल्स बिजनेस कमजोर रहा और रिटेल की ग्रोथ भी उतनी दमदार नहीं रही। मोतिलाल ओसवाल ने FY26-27 के लिए EBITDA और नेट प्रॉफिट के अनुमान 1-4% घटा दिए हैं।
रिलायंस का अगला बड़ा दांव
विश्लेषकों के मुताबिक, टेलीकॉम और रिटेल के बाद रिलायंस का अगला बड़ा दांव है ग्रीन एनर्जी। कंपनी अगले कुछ सालों में 2 ट्रिलियन डॉलर का निवेश सोलर बैटरी, फ्यूल सेल और नई ऊर्जा प्रोजेक्ट में करने जा रही है।
जोखिम से ताकत तक
जियो लॉन्च के समय अंबानी का दांव सबसे बड़ा रिस्क माना जा रहा था। लेकिन महाकुंभ 2025 में जियो ने 660 मिलियन श्रद्धालुओं के बीच 83.9 फीसदी 5G उपलब्धता देकर ये साबित कर दिया कि स्केल और टेक्नोलॉजी पर दांव लगाना ही उसकी असली ताकत है।