जम्मू-कश्मीर: 2 झरनों का पानी जान के लिए बना ‘खतरा’

बांदीपुरा जिले के सदरकूट बाला गांव में जल शक्ति विभाग ( Water Power Department) के सब-डिवीजन सुंबल द्वारा दो स्थानीय झरनों और एक बोरवेल में संदूषण पाए जाने के बाद स्वास्थ्य संबंधी चिंताएं पैदा हो गई हैं। अधिकारियों ने निवासियों को इन स्रोतों से सीधे पानी पीने से बचने और एहतियात के तौर पर पीने से पहले इसे अच्छी तरह उबालने की सलाह दी है।

मीडिया से बात करते हुए जल शक्ति विभाग सुंबल के एक अधिकारी ने कहा कि जल शक्ति (पीएचई) सब डिवीजन सुंबल द्वारा विभिन्न झरनों के नमूने और परीक्षण से जुड़ा एक व्यापक अभियान चलाया गया था। परिणामों में सदरकूट बाला में स्थित गंडक नाग और कनिवान नाग नामक दो झरनों से लिए गए नमूनों में जीवाणु संदूषण का पता चला। पास के एक बोरवेल में भी संदूषण के लिए सकारात्मक परीक्षण किया गया।

जल शक्ति संबल के सहायक कार्यकारी अभियंता (एईई) काजी साकिब ने निवासियों से अपील की है कि वे सलाह का सख्ती से पालन करें और इन प्रभावित स्रोतों से पानी उबालने के बाद ही उसका उपयोग करें। उन्होंने जोर देकर कहा कि यह उपाय समुदाय की सुरक्षा और भलाई सुनिश्चित करने के लिए महत्वपूर्ण है। संदूषण के स्रोत का पता लगाने और दीर्घकालिक समाधान लागू करने के लिए आगे की जांच चल रही है।

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