राजस्थान: अस्पताल की लापरवाही मरीज पर पड़ी भारी, प्लास्टर के अंदर मिली ब्लेड

लापरवाही सामने आने के बाद अस्पताल प्रशासन के होश उड़ गए और एक दूसरे पर जिम्मेदारी डालते हुए नजर आए। मरीज का कहना है कि अस्पताल प्रशासन की इस लापरवाही से वो इंफेक्शन का भी शिकार हो सकता था।

राजस्थान के कोटा संभाग के सबसे बड़े एमबीएस अस्पताल में नर्सिंग स्टॉफ की लापरवाही एक मरीज पर भारी पड़ गई। जहां पर मरीज के हाथ में प्लास्टर बांधने के दौरान प्लास्टर के अंदर ब्लेड रख दी। इस लापरवाही का पता मरीज को एक सप्ताह बाद लगा। जब मरीज पक्का प्लास्टर बंधवाने के लिए फिर से अस्पताल पहुंचा और एक्सरा करवाया। लापरवाही सामने आने के बाद अस्पताल प्रशासन के होश उड़ गए और एक दूसरे पर जिम्मेदारी डालते हुए नजर आए। मरीज का कहना है कि अस्पताल प्रशासन की इस लापरवाही से वो इंफेक्शन का भी शिकार हो सकता था।

मरीज जाकिर ने बताया कि उसकी स्टेशनरी की दुकान है, वो दुकान के काम से कुछ दिन पहले केशवपुरा इलाके में गया था। जहां पर एक कार चालक ने अचानक कार कार गेट खोल दिया, जिससे जाकिर की बाइक टकरा गई और जाकिर नीचे गिर गया। इस दौरान उसके हाथ में चोट लग गई, जिसके बाद वो एमबीएस अस्पताल में उपचार करवाने के लिए गया था। चिकित्सकों ने उसके हाथ की उंगली में फ्रेक्चर बताया।

इस पर नर्सिंग स्टॉफ ने हाथ में कच्चा प्लास्टर बांध दिया और एक सप्ताह बाद दोबारा चेकअप करवाने के लिए बोला गया। आज मरीज जाकिर फिर से अस्पताल में हाथ दिखाने के लिए पहुंचा था। इस बीच चिकित्सकों ने उसे एक्सरा करवाने के लिए बोला, जब उसने एक्सरा करवाया और रिपोर्ट देखी तो एक्सरा के अंदर ब्लेड दिखाई दी, जिसको देख मरीज चौंक गया।

वहीं, ड्यूटी पर मौजूद चिकित्सकों ने इस लापरवाही पर नर्सिंग स्टॉफ को फटकार भी लगाई। लेकिन कोई नतीजा नहीं निकला। युवक का कहना है कि घटना के बाद स्टॉफ ने प्लास्टर काटकर ब्लेड तो निकाल दी। लेकिन दोबारा से पक्का प्लास्टर बांधने से मना कर दिया। इस पर मरीज करीब तीन घंटे से अस्पताल के चक्कर ही लगाता रहा। लेकिन उनकी सुनने वाला कोई नहीं था। वहीं, मामला सामने आने के बाद अस्पताल प्रशासन कुछ भी कहने से बचता नजर आया है।

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