स्वावलंबी बनाने की योजना में 3.85 करोड़ का घपला, मानदेय-प्रशिक्षण सामग्री की खरीदारी में मनमानी
महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाने की योजना में करोड़ों का घपला सामने आया है। आरोप है कि विभिन्न ब्लॉक क्षेत्रों के ज्यादातर समूहों के विस्तार और नए समूहों के गठन, प्रशिक्षण, ड्रेस, कार्यालय सामग्री आदि की खरीदारी आदि में कागजों में हेराफेरी करके घपला किया गया है।
उन्नाव जिले निर्धन परिवारों की महिलाओं के समूह गठित कर उन्हें स्वरोजगार से जोड़कर आत्मनिर्भर बनाने के लिए मिले 3.85 करोड़ रुपये खर्च करने में मनमानी की गई। ग्रामीण क्षेत्रों के भ्रमण, प्रशिक्षण और प्रशिक्षण सामग्री खरीद के नाम पर घपले के आरोप हैं। सीडीओ ने चार सदस्यीय टीम गठित जांच शुरू कराई है।
शुरुआती जांच में गड़बड़ी सामने आ रही है। राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन योजना (एनआरएलएम) में वित्तीय वर्ष 2023-24 में अभियान चलाकर जरूरतमंद परिवारों की महिलाओं को स्वयं सहायता समूहों से जोड़ने, नए समूह गठित करने व महिलाओं को उनकी रुचि और योग्यता के आधार पर प्रशिक्षण देने की योजना थी।
3558 समूहों के लिए 3.85 करोड़ रुपये मिले थे
इसके लिए 18 अप्रैल 2023 से 30 जून 2023 तक जिले में अभियान चलाने के आदेश दिए गए थे। जिले में स्वयं सहायता समूहों के गठन के लिए मानदेय, आवागमन व जरूरी सामग्री खरीदने के लिए प्रति समूह 10 हजार रुपये के हिसाब से 3558 समूहों के लिए 3.85 करोड़ रुपये जिले को मिले थे। प्रशासन को योजना में घपले की लगातार शिकायतें मिल रही थीं।
सीडीओ ने प्रकरण की जांच शुरू कराई
आरोप लगाए गए कि विभिन्न ब्लॉक क्षेत्रों के ज्यादातर समूहों के विस्तार और नए समूहों के गठन, प्रशिक्षण, ड्रेस, कार्यालय सामग्री आदि की खरीदारी आदि में कागजों में हेराफेरी करके घपला किया गया है। लगातार शिकायतों के बाद सीडीओ प्रेम प्रकाश मीणा ने प्रकरण की जांच शुरू कराई है।
जांच के लिए चार सदस्यीय टीम बनाई
इसके लिए चार सदस्यीय टीम बनाई है, जिसमें बेसिक शिक्षा विभाग के वित्त एवं लेखाधिकारी, बैंक ऑफ इंडिया के अग्रणी जिला प्रबंधक, सिकंदरपुर सरोसी ब्लाक के लेखाकार रामकुमार सिंह और श्रम रोजगार उपायुक्त कार्यालय के लेखाकार अमित तिवारी को शामिल किया गया है।
बार-बार दबाते रहे आदेश, टलती रही जांच
इस प्रकरण में कांग्रेस नेता अक्षत ठाकुर, गांधीनगर निवासी अरविंद कुमार सहित कई लोगों ने शिकायतें कीं। जांच के आदेश भी हुए लेकिन मामला आगे नहीं बढ़ पाया। वर्ष 2023 में जिले के तत्कालीन अधिकारियों से शिकायत करने पर भी कार्रवाई नहीं हुई।
तत्कालीन सीडीओ ने भी जांच के दिए थे आदेश
इस पर कांग्रेस नेता अक्षत ठाकुर ने अगस्त 2023 में उप मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य से शिकायत की। उनके निर्देश पर तत्कालीन सीडीओ ने जांच के आदेश दिए, लेकिन फाइल दब गई। इसके बाद जिला प्रभारी मंत्री धर्मपाल सिंह से शिकायत की गई। जनवरी 2025 में फिर शिकायत की, तो सीडीओ ने कमेटी बनाकर जांच शुरू कराई।
नए समूह बनाकर सदस्य महिलाओं को प्रशिक्षण देकर आर्थिक रूप से स्वावलंबी बनाने की योजना के लिए हर तीन-चार साल में बजट आता है। शिकायत मिली है कि इस बजट से खरीदारी और खर्च करने में शासनादेश का उल्लंघन किया गया। प्रत्येक समूह को 10 हजार रुपये देने थे। इस मानक को भी नजरअंदाज किया गया और बिना बिल बाउचर के ही भुगतान कर दिया। जांच चल रही है, जो लोग भी जिम्मेदार होंगे, उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। -प्रेम प्रकाश मीण, मुख्य विकास अधिकारी
राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन योजना में वित्तीय वर्ष 2023-24 में जिले को मिले 3.85 करोड़ रुपये खर्च करने में गड़बड़ी की शिकायतें मिली हैं। शुरुआती जांच में कुछ समूहों में गड़बड़ी सामने आई है। विस्तृत जांच और स्थलीय सत्यापन कराया जा रहा है। अगर कोई अधिकारी, कर्मचारी दोषी साबित होता है तो उनके खिलाफ एफआईआर दर्ज कराते हुए रकम की वसूली कराई जाएगी। -गौरांग राठी, जिलाधिकारी