अब तारीख पर तारीख नहीं चलेगी…गरीब को न्याय मिले, यही हमारा लक्ष्य होना चाहिए: सीएम योगी

उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शुक्रवार को वाराणसी में विकास कार्यों की प्रगति एवं कानून-व्यवस्था की विस्तृत समीक्षा की तथा अधिकारियों को आवश्यक निर्देश दिए। सकिर्ट हाउस सभागार में प्रशासनिक एवं पुलिस अधिकारियों के साथ बैठक में उन्होंने निर्माणाधीन विकास परियोजनाओं को युद्ध स्तर पर अभियान चलाकर पूरा कराए जाने के निर्देश दिए। उन्होंने परियोजनाओं की गुणवत्ता पर बल देते हुए कहा कि इसमें किसी भी स्तर पर लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी। सभी सम्बन्धित विभाग समन्वय से कार्यों को तेजी से आगे बढ़ाएं।

सीएम योगी ने दिए निर्देश
मुख्यमंत्री ने कहा कि बड़ी संख्या में महाकुम्भ प्रयागराज-2025 से जुड़े श्रद्धालु वाराणसी आएंगे। उनके सम्भावित आगमन के द्दष्टिगत सभी कार्ययोजनाएं 15 दिसम्बर तक तैयार करते हुए कार्यों को 30 दिसम्बर तक पूरा करा लिया जाए। महाकुम्भ के द्दष्टिगत ऑटो रिक्शा, ई-रिक्शा तथा अन्य वाहनों के चालकों का वेरिफिकेशन जरूर करा लें। महाकुम्भ के द्दष्टिगत नगर निगम स्वच्छता एवं अन्य सुविधाओं पर ध्यान दे, जिससे बड़ी संख्या में वाराणसी आने वाले श्रद्धालुओं को सुविधाएं उपलब्ध कराई जा सकें। उन्होंने कहा कि धर्मस्थलों से माइक उतारने तथा आवाज को सीमित करते हुए अनावश्यक डीजे एवं माइक की आवाज को नियंत्रित करें, जिससे किसी को परेशानी न हो। महिलाएं, बेटियां तथा श्रद्धालु बिना भय के घूम सकें, इसके लिए सघन पेट्रोलिंग की जाए। पेट्रोलिंग इस प्रकार की जाए कि अगर कोई लूट की घटना अंजाम दे, तो उसे तुरन्त अगले चौराहे पर पकड़ा जा सके।

अपराधियों के मामलों को लम्बित न छोड़ेंः योगी  

सीएम योगी ने कहा कि सभी परियोजनाओं की शुरुआत में तय गाइडलाइन के हिसाब से कार्य कराते हुए, कार्य की प्रगति, समयबद्धता तथा गुणवत्ता को सुनिश्चित करें। किसी भी लापरवाही पर निर्माण एजेंसी, कॉन्ट्रैक्टर की जिम्मेदारी तय करते हुए उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई करें। सभी विभागों द्वारा विभागीय कार्ययोजना की नियमित समीक्षा की जाए। अपराधियों के मामलों को लम्बित न छोड़ें। टॉप टेन अपराधियों के साथ पूरी सख्ती से पेश आते हुए उनके खिलाफ कार्रवाई सुनिश्चित की जाए। योगी ने कहा कि विभागीय अधिकारी प्रतिदिन एक घण्टे जनशिकायतों का निस्तारण अवश्य करें। अभियान चलाकर राजस्व से सम्बन्धित मामलों-वरासत, भूमि पैमाइश, बंटवारे, इत्यादि को तेजी से निपटाएं। अगली समीक्षा बैठक में सम्बन्धित की जिम्मेदारी तय करते हुए कार्रवाई सुनिश्चित की जाएगी। राजस्व से जुड़े मामले ही गांव की अशान्ति का कारण बनते हैं। अब तारीख पर तारीख नहीं चलेगी। गरीब को न्याय मिले, यही हमारा लक्ष्य होना चाहिए। मामलों को अनावश्यक लम्बित न रखा जाए। 

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