कनाडा का फिर अनर्गल आरोप- कहा- ‘अलगाववादियों पर नजर रखने के लिए भारत कर रहा साइबर जासूसी’

कनाडा और भारत के बीच रिश्ते और खराब होते जा रहे हैं। कनाडा की जासूसी एजेंसी ने एक नई चेतावनी जारी की है। कनाडा ने एक बार फिर अनर्गल आरोप लगाया है कि भारत कनाडा पर बड़ा साइबर हमला कर सकता है। लगातर कनाडा की सरकारी वेबसाइट को निशाना बनाया जा रहा है।

कनाडा के संचार सुरक्षा प्रतिष्ठान के मुताबिक भारत साइबर तकनीक के माध्यम से अलगाववादियों पर नजर रख रहा है। एजेंसी का आरोप है कि भारत साइबर क्षमताओं का इस्तेमाल कनाडा के सरकारी नेटवर्क के खिलाफ हमलों को बढ़ाने में भी कर रहा है।

कनाडाई एजेंसी ने क्या आरोप लगाया?

कनाडा के संचार सुरक्षा प्रतिष्ठान के प्रमुख कैरोलीन जेवियर ने कहा, “यह स्पष्ट है कि हम भारत को एक उभरते साइबर खतरे वाले देश के रूप में देख रहे हैं। एजेंसी का कहना है कि भारत और कनाडा के बीच रिश्ते साइबर हमलों की वजह से बिगड़े हैं।

एजेंसी ने अपनी रिपोर्ट में कहा कि कनाडा के आरोपों के बाद भारत समर्थक हैकटिविस्ट ग्रुप ने सेना की साइट समेत कनाडाई वेबसाइटों पर DDoS हमले किए। वेबसाइट को ऑनलाइन ट्रैफिक से भर दिया। इससे लोग इन वेबसाइट तक नहीं पहुंच सके हैं।

कहां से आई रिश्तों में तल्खी?

साल 2023 में कनाडा के वैंकूवर में कनाडाई आतंकी हरदीप सिंह निज्जर की अज्ञात व्यक्तियों ने गोली मारकर हत्या कर दी थी। बाद में कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो ने हत्या का आरोप भारत पर लगाया। मगर आज तक ट्रूडो एक भी सुबूत पेश नहीं कर पाएं हैं। निज्जर की हत्या के बाद से कनाडा और भारत के रिश्तों में तल्खी है। भारत ने कनाडा से अपने राजनयिकों को वापस बुला लिया। इसके अलावा कनाडा के छह राजनयिकों को भारत ने देश से निकाल दिया है।

भारत के अलावा सूची में कौन-कौन देश?

कनाडा की खुफिया एजेंसी ने भारत को उभरते साइबर खतरे वाले देशों की सूची में रखा है। हैरानी की बात यह है कि इस लिस्ट में भारत के अलावा रूस, चीन और उत्तर कोरिया शामिल हैं। भारत को छोड़कर बाकी देशों की पश्चिमी मुल्कों से नहीं बनती हैं।पश्चिम देश रूस, चीन और उत्तर कोरिया को बड़ा खतरा मानते हैं। नई दिल्ली में जी-20 सम्मलेन से लौटने के बाद से ही जस्टिन ट्रूडो ने भारत के खिलाफ अनाप-शनाप आरोप लगाना जारी रखा है। हालांकि आरोपों के समर्थन में भारत कई बार सुबूतों की मांग कर चुका है।

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