जमीन में दबाइए कॉपी के पन्ने, कुछ दिन में निकल आएंगे पौधे; प्रगति मैदान में चल रहा एक्सपो

अगर आपकी कॉपी के पन्ने भर गए हैं, तो अब इन्हें रद्दी में डालने की जरूरत नहीं है। इनको बस मिट्टी में दबा देना है। कुछ दिनों बाद यह पौधे के रूप में आपको हरियाली देंगे। इस तरह की ईको फ्रेंडली कॉपी की खरीदारी प्रगति मैदान के गिफ्ट्स वर्ल्ड एक्सपो (जीडब्ल्यूई) से कर सकते हैं। बृहस्पतिवार से तीन दिवसीय एक्सपो की शुरुआत हो गई है। कॉपी के इन पन्नों में फूल, सब्जियों व औषधीय पौधों के बीज हैं।

ईस्ट ऑफ कैलाश के अमित अरोड़ा का हॉल नंबर दो में स्टॉल लगा है। वह बताते हैं कि अक्सर लोग अपनी कॉपी को रद्दी में दे देते हैं। इससे वह दोबारा कम ही उपयोग हो पाते हैं जबकि इनको बनाने के लिए पेड़ भी काटने पड़ते हैं। इससे पर्यावरण पर बुरा असर पड़ता है। इसी को ध्यान में रखते हुए इस स्टार्टअप को तैयार किया है। वह बताते हैं कि इनकी कीमत भी मामूली है, जोकि सात रुपये से लेकर 150 रुपये तक है।

इसी तरह लकड़ी के छिलकों व बांस से बनी कॉपी, पेन, डायरी व बोतल भी लोगों को आकर्षित कर रही हैं। एक्सपो में पहुंचे दीपक बताते हैं कि उनकी संस्था कॉरपोरेट कंपनियों से डील करती है। इसमें वह उपहार के रूप में उन्हें सभी तरह की स्टेशनरी उपलब्ध करवा रहे हैं। उन्होंने बताया कि जब वह दिल्ली विश्वविद्यालय में पढ़ाई कर रहे थे, तब उनके साथियों ने मिलकर इस स्टार्टअप को शुरू किया था।

उपहारों के जरिये पर्यावरण बचाने का दे रहे संदेश: विश्व में जलवायु परिवर्तन चिंता का विषय है। इससे स्टार्टअप से लेकर कई वैश्विक कंपनियां अपने आपको ईको फ्रेंडली जोन में ले जा रही हैं। ऐसे में उपहार के उत्पाद भी अछूते नहीं हैं। उपहारों को पर्यावरण के अनुकूल बना रहे हैं, जिससे ईको फ्रेंडली उपहार की मांग बढ़ी है। नतीजतन, पर्यावरण के अनुकूल उपहारों ने विशेष अवसरों को मनाने के लिए एक विचारशील और जिम्मेदाराना तरीके के रूप में लोकप्रियता हासिल की है। 

इस तरह बनते हैं ईको फ्रेंडली पन्ने
पहले पुराने पन्नों को रिसाइकल किया जाता है। जब वह पन्ने का रूप ले लेते हैं, तो उन्हें पानी में भिगाया जाता है। जब वह पूरी तरह से भीग जाते हैं, तो उन्हें कुछ दिन के लिए छोड़ दिया जाता है। इसके बाद पन्नों को मजबूती देने के लिए उन्हें सुखाया जाता है। जब वह पूरी तरह से सूख जाते हैं, तो उनमें पहले हल्के फूल व सब्जी के बीज का छिड़काव किया जाता है। इसके बाद पन्ने को फिर से भिगाया जाता है, इसमें वह फूल व सब्जियों के बीज घुल जाते हैं और पन्ने पर फिक्स हो जाते हैं, जिसे मिट्टी में दबाने के बाद वे पौधे का रूप ले लेते हैं।

शनिवार तक चलेगा एक्सपो
प्रगति मैदान में जीडब्ल्यूई का 25वां संस्करण बृहस्पतिवार से शुरू हो गया है। एमईएक्स एग्जिबिशन की ओर से आयोजित एक्सपो शनिवार तक चलेगा। एक्सपो में 600 से अधिक प्रदर्शक शामिल हैं। साथ ही 3,500 से अधिक ब्रांड के साथ 30 हजार उत्पादों के स्टॉल लगाए गए हैं। उपहारों और त्योहारों के मौसम को देखते हुए गिफ्ट्स वर्ल्ड एक्सपो में अलग-अलग कंपनियों द्वारा लोगों को उचित दरों पर गिफ्ट्स की आइटम उपलब्ध कराई जा रही हैं।

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