यूपी के इस जिले की बदल गई तस्वीर, 64वें से 5वें रैंक तक का तय किया सफर
यूपी के गोंडा जिले को जन शिकयतों निस्तारण के मामले में बड़ी उपलब्धि मिली है। अभी तक यह जिला 64वें पायदान पर खड़ा था। लेकिन डीएम नेहा शर्मा के नेतृत्व में जिला प्रशासन के प्रयासों का नतीजा है कि गोंडा की स्थिति अब प्रदेश स्तर पर बेहतर हो रही है। यहां न केवल आम जनता की सुनवाई होती है बल्कि उनकी शिकायतों का ससमय निस्तारण भी सुनिश्चित किया जा रहा है। जिसकी वजह से गोंडा अब जन शिकायतों निस्तारण के मामले में इस बार पांचवी रैंक मिली है।
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प्रदेश सरकार की ओर से जनशिकायतों के निस्तारण के संबंध में जारी आंकड़ों में यह स्थिति उभर कर सामने आई है। सभी 75 जनपदों की स्थिति से जुड़े आंकड़े जारी किए गए हैं। जिलो के प्रदर्शन के आधार पर रैंक भी आवंटित किए गए। इस रैंकिंग में गोंडा ने प्रदेश भर में पांचवां स्थान प्राप्त किया है। जिले में निर्धारित समय सीमा के भीतर जन शिकायतों के निस्तारण में जिला प्रशासन की ओर से दिखाई गई सक्रियता के चलते यह रैंकिंग मिली है। जिलाधिकारी नेहा शर्मा ने कहा कि जिला प्रशासन जन शिकायतों के त्वरित निस्तारण के लिए प्रतिबद्ध है। इसमें किसी भी स्तर पर कोई भी लापरवाही स्वीकार्य नहीं है। उन्होंने कहा कि कहा कि यह जिला प्रशासन की पूरी टीम के प्रयासों का नतीजा है। बता दें, जनशिकायतों के निस्तारण में यह पहली बार ऐसा मौका आया है। जब जिले की गिनती प्रदेश के टॉप फाइव जिलों में की जा रही है। जिलाधिकारी नेहा शर्मा ने जून 2023 में जनपद की कमान संभाली थी। मई 2023 में इस रैंकिंग में गोंडा जनपद 64वें स्थान पर था।
शिकायतों का समय पर निस्तारण है प्राथमिकता
जन शिकायतों का समय पर निस्तारण जिलाधिकारी नेहा शर्मा की प्राथमिकता में रहा है। यही कारण है कि जनपद गोंडा की कमान संभालने के बाद नेहा शर्मा ने जनता दर्शन के कार्यक्रम को नियमित किया। अपने स्तर पर जन शिकायतों की न केवल सुनवाई करती हैं। बल्कि पीड़ित को तत्काल राहत दिलाने के प्रयास भी किए जाते हैं। इसी का नतीजा है कि आईजीआरएस पर दर्ज की गई शिकायतों के निस्तारण में जिले की बेहतर तस्वीर उभर कर सामने आई है।
गांव गांव जाकर दूर की जा रही शिकायत
प्रदेश सरकार की योजनाओं का लाभ जन जन तक पहुंचाने और जिले के दूर-दराज के इलाकों में रहने वाले लोगों के साथ सीधा संवाद स्थापित करने के लिए डीएम ने ग्राम चौपाल की शुरुआत की। वह खुद गांव गांव जाकर लोगों से मिली। उनकी शिकायतों को सुना और उनके तत्काल निस्तारण के संबंध में कार्रवाई सुनिश्चित की। ग्राम चौपाल की लोकप्रियता को देखते हुए इस साल फिर जिले के दूर दराज के क्षेत्र में बसे करीब 100 गांव में जाकर जिलाधिकारी ने ग्राम चौपाल 2.0 का आयोजन किया जा रहा है।