झारखंड में एक्सप्रेस कुरियर के माध्यम से हो रही वन्यजीवों की तस्करी…

इंटरपोल से राज्य में वन्यजीवों की तस्करी और विदेशी व जंगली जानवरों की तस्करी को लेकर राज्य को आगाह किया गया है। इंटरपोल के पत्र मिलने के बाद इस संबंध में सीआईडी मुख्यालय ने सभी जिलों के एसपी को पत्र लिखकर कार्रवाई करने का निर्देश दिया है। जिसके बाद सभी थानों को भी इस संबंध में कार्रवाई व मॉनिटरिंग का आदेश जिलों के एसपी ने दिया है। 

एक्सप्रेस कुरियर के जरिए तेज डिलिवरी होती है
एक्सप्रेस कुरियर के लिए किसी भी पार्सल की डिलिवरी सबसे तेजी से होती है। इसके लिए कस्टमर को कुछ अतिरिक्त राशि शिपिंग कॉस्ट के तौर पर देनी पड़ती है। 24 से 27 घंटे के भीतर पार्सल डिलिवरी संबंधित जगह पर हो जाती है। एक्सप्रेस कुरियर को सबसे तेज पार्सल डिलिवरी सिस्टम के तौर पर जाना जाता है। अंदेशा जताया जा रहा है तस्कर इस सिस्टम का उपयोग अपने फायदे के लिए करते हैं। साथ ही इसके लिए तस्करी को अंजाम दिया जा रहा है। 

सीबीआई को इंटरपोल से मिला था इंटेलीजेंस इनपुट
इंटरपोल ने इस संबंध में सीबीआई को एक इंटेलीजेंस इनपुट दिया था। इस इनपुट में बताया गया था कि एक्सप्रेस कुरियर के माध्यम से वन्यजीवों की तस्करी हो रही है। साथ ही विदेशी व जंगली जानवरों की खाल से बने हैंडबैग्स, पर्स, वॉलेट्स, बेल्ट और चमड़े की तस्करी हो रही है। इस मामले में इंटरपोल के भेजे गए इनपुट पर सीबीआई के डिप्टी डायरेक्टर विजयेंद्र बिदारी ने राज्य को पत्र लिखा। जिस पर कार्रवाई के लिए अब सभी जिलों को सीआईडी ने पत्र भेजा है। 

वन विभाग ने तैयार किया है वन संरक्षण का प्लान
झारखंड के वन विभाग ने पिछले साल वन संरक्षण का एक्शन प्लान तैयार किया था। इसके अनुसार विभाग ने खुद जंगली जानवरों की संख्या 30,166 बताई थी। बताया था कि वन्य प्राणी संरक्षण पर लगभग 22 करोड़ रुपये सालाना खर्च किए जाते हैं। लेकन जंगलों से लुप्त हो रहे जानवरों को लेकर अब सवालिया निशान उठ रहे हैं। कई तस्कर पकड़े गए हैं। विभाग के ही आंकड़े बताते हैं कि सांभर, चीतल, साहिल और नेवले की संख्या काफी कम हो रई है। 10 साल पहे जहां राज्य में 25,000 कोयल थी, अब घटकर 15 हजार के करीब रह गई है।

झारखंड में वन्यजीवों की कुल संख्या कितनी है
जानवरों की संख्या की बात की जाए तो राज्य में फिलहाल 867 चीतल हैं। 45 सांभर हैं। जंगली सुअरों की संख्या 2,604 है। भौर की संख्या 147 है। 3 नीलगाय हैं। 477 कोटरा हैं। 50 तेंदुआ हैं। भेड़िया 135 हैं। बंदरों की संख्या 17,304 है। हाथी 688 हैं। 153 भालू हैं। 72 लोमड़ी औ 266 सियार हैं

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