वकील अत्यावश्यक सेवा में नहीं आते : हाई कोर्ट

मुंबई, 16 जुलाई । मुंबई हाई कोर्ट ने गुरुवार को महत्वपूर्ण निर्णय देते हुए कहा कि वकील अत्यावश्यक सेवा में नहीं आते हैं। इसलिए वकीलों को अत्यावश्यक सेवा में शामिल कर्मचारियों जैसा लाभ व छूट नहीं मिल सकती।
मुंबई वकील संघ की ओर से हाई कोर्ट में याचिका दायर कर उन्हें सरकारी कर्मचारियों जैसे लोकल ट्रेन से आने-जाने की छूट दिए जाने की मांग की थी। वकील संघ का कहना था कि वह सभी भी अत्यावश्यक सेवा के अंतर्गत आते हैं। इसलिए उन्हें भी सरकारी, मेडिकल कर्मियों जैसी सुविधाएं मिलनी चाहिए।
इस मामले की सुनवाई करते हुए न्यायाधीश एस.एस. शिंदे व न्यायाधीश माधव जामदार ने कहा कि राज्य सरकार ने वकीलों को अत्यावश्यक सेवा देने वालों में शामिल नहीं किया है। इसी प्रकार महाराष्ट्र अत्यावश्यक सेवा अधिनियम 2017 के अनुसार वकीलों की सेवा अत्यावश्यक सेवा नहीं है। इसलिए वकीलों को अत्यावश्यक सेवा के अंतर्गत आने वाले कर्मचारियों जैसी सुविधा नहीं दी जा सकती है। हाई कोर्ट ने वकील संघ की याचिका खारिज कर दिया है।

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