71 साल में छात्र राजनीति से निकले कई बड़े नेता, मुख्यमंत्री और लोकसभा तक का तय कर चुके हैं सफर

दिल्ली विश्वविद्यालय छात्र संघ (डूसू) को देश में राष्ट्रीय राजनीति में कदम रखने की पहली सीढ़ी माना जाता है। डूसू के 71 साल के इतिहास में छात्र राजनीति ने कई बड़े नेताओं को जन्म दिया है, जिन्होंने नगर निगम, विधानसभा और लोकसभा तक में अपने पद और पहचान बनाई।
दिल्ली विश्वविद्यालय के डूसू (दिल्ली विश्वविद्यालय छात्र संघ चुनाव) को राष्ट्रीय राजनीति में प्रवेश की पहली सीढ़ी माना जाता है। डूसू के 71 साल के इतिहास में छात्र राजनीति ने देश को कई बड़े नेता दिए हैं। डूूसू के फलक पर चमक बिखेरने के बाद कई नेताओं ने नगर निगम, विधानसभा और लोकसभा तक में परचम लहराया है। इनमें ताजा नाम दिल्ली की मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता व दिल्ली के शिक्षा मंत्री आशीष सूद हैं, जो कि डूसू के अध्यक्ष रह चुके हैं।
रेखा गुप्ता से लेकर आशीष सूद तक
डूसू की शुरूआत वर्ष 1954 में हुई थी। अब तक डूूसू से निकला कोई नेता मुख्यमंत्री नहीं बना था। मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने इसमें कामयाबी हासिल की है। वह 1995-96 में पहले डूसू सचिव रही। वहीं अगले साल 1996-97 में उन्होंने डूसू के अध्यक्ष पद को जीता। तीन बार पार्षद रह चुकी रेखा गुप्ता ने वर्ष 2025 में शालीमार बाग विधानसभा से विधायक बनी।
वर्ष 1974 में एबीवीपी के टिकट से अरुण जेटली डूूसू के अध्यक्ष बने। राज्यसभा सांसद व केंद्रीय मंत्री भी रहे। वर्ष 1978 में एबीवीपी से डूसू अध्यक्ष रहे विजय गोयल ने भी राष्ट्रीय राजनीति तक सफर तय किया। वह केंद्रीय मंत्री रहे और तीन बार लोकसभा व एक बार राज्यसभा सांसद बने।
वहीं 1968 में डूसू अध्यक्ष रहे हरचरण सिंह जोश भी विधानसभा तक पहुंचे। वर्ष 1971 में डूसू अध्यक्ष बने सुभाष चोपड़ा ने भी विधानसभा पहुंचेा। वर्ष 1994 में डूसू अध्यक्ष रहीं शालू मलिक, 2001 में अध्यक्ष बनीं नीतू वर्मा दिल्ली नगर निगम में पार्षद रहीं। 2008 में एनएसयूआई के पूर्व अध्यक्ष अनिल चौधरी भी विधानसभा पहुंचे। हरीशंकर गुप्ता 1978, अनिल झा 1997, विजय जौली 1980, अलका लांबा 1995 डूसू चुनाव में जीते और बाद में विधायक बने।
डूसू में सहसचिव बनी पूर्णिमा सेठी भी विधानसभा तक पहुंची। 2007 में गौरव खारी नगर निगम तो अनिल झा विधानसभा पहुंचे। वर्ष 2006 में अध्यक्ष बनी अमृता धवन पार्षद रही। डूसू अध्यक्ष बनी रागिनी नायक इस समय एआईसीसी की राष्ट्रीय प्रवक्ता है। रोहित चौधरी एनएसयूआई से वर्ष 2003-04 में डूसू अध्यक्ष बने वर्तमान में वह एआईसीसी के राष्ट्रीय सचिव हैं। एबीवीपी से वर्ष 2008 में डूसू अध्यक्ष बनी नुपूर शर्मा अरविंद केजरीवाल के खिलाफ चुनाव लड़ी थी। 2017 में डूसू अध्यक्ष बने रॉकी तुषीद विधायक का टिकट मिलने के बाद जीत नहीं सके थे।
1988-89 में डूसू के अध्यक्ष रहे दिल्ली के शिक्षा मंत्री आशीष सूद
वर्तमान में दिल्ली के शिक्षा मंत्री आशीष सूद भी डूसू से जुड़े रहे हैं। वह 1988-89 में डूसू के अध्यक्ष रहे। डूसू से निकल कर एनएसयूआई से अजय माकन, सुभाष चोपड़ा, हरचरण सिंह जोश, हरिशंकर गुप्ता, अल्का लांबा, नीतू वर्मा, शालू मलिक, अमृता धवन और बहुत छात्र नेताओं ने राजनीति में अपनी चमक बिखेरी है। वर्ष 1986 में डूसू अध्यक्ष रहे अजय माकन वहां से निकलकर सक्रिय राजनीति में पहुंचे। वह केन्द्र सरकार में मंत्री भी रह चुके हैं। इसके अलावा सांसद, ऑल इंडिया कांग्रेस कमेटी के सचिव, विधानसभा अध्यक्ष भी रहे हैं।