बड़ी घटना: बनारस फ्लाईओवर हादसे में 18 लोगों की हुई मौत, घटनास्थल जायजा लेने पहुचें CM योगी
बीम के नीचे एक महानगर सेवा की बस सहित एक दर्जन वाहन दब गए। रात नौ बजे तक 18 लोगों के मरने की खबर है। 30 से अधिक लोग घायल हुए हैं। बीम के नीचे दबे वाहनोें को गैस कटर से काट कर सेना और एनडीआरएफ के जवानों ने 16 शव और छह घायलों को बाहर निकाल लिया है।
घायलों का बीएचयू के ट्रॉमा सेंटर सहित शहर के अलग-अलग अस्पतालों में इलाज चल रहा है। हादसे की जानकारी मिलने पर उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य शहर पहुंच गए हैं। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ भी देर रात पहुंचे। अस्पताल जाकर घायलों से मुलाकात की।
इधर बीच, हादसे के बाद यहां पहुंचे डिप्टी सीएम केशव मौर्य ने सेतु निगम के चार अभियंताओं को निलंबित कर दिया है। चीफ प्रोजेक्ट मैनेजर एचसी तिवारी, प्रोजेक्ट मैनेजर राजेन्द्र सिंह और केआर सुदन व अवर अभियंता लालचंद पर यह कार्रवाई की गई है। वाईके गुप्ता की अध्यक्षता में तकनीकी टीम का गठन किया गया है। यह 15 दिन में अपनी रिपोर्ट देगी।
कैंट-लहरतारा मार्ग पर एईएन कॉलोनी के सामने शाम साढ़े पांच बजे के लगभग निर्माणाधीन फ्लाईओवर पर मजदूर काम कर रहे थे। इसी दौरान सड़क की दाईं लेन पर पिलर के ऊपर रखी 50-50 फीट लंबी दो बीम तेज धमाके और धूल के गुबार के साथ सड़क पर गिर पड़ीं।
तेज धमाका सुनकर वसुंधरा और एईएन कॉलोनी के लोग अपने घरों से बाहर निकल कर भागे। राहगीरों में भी भगदड़ मच गई। हादसे के लगभग आधा घंटे बाद पुलिस पहुंची और तकरीबन डेढ़ घंटे बाद राहत और बचाव कार्य शुरू हुआ।
जिन बीम के नीचे वाहन दबे थे, उसे हटाने के लिए एक-एक कर नौ क्रेन आईं लेकिन उठा नहीं सकीं। सभी नौ क्रेन की मदद से बीम को हल्का सा उठाया गया तो दो ऑटो, दो बोलेरो, एक कार और एक अप्पे को बाहर निकाल कर महानगर बस को खींचा गया।
इस दौरान देरी से राहत और बचाव कार्य शुरू होने के कारण भीड़ में मौजूद लोगों ने पुलिस-प्रशासन के विरोध में जमकर नारेबाजी की और अधिकारियों से नोकझोंक हुई। हादसे के बाद इंग्लिशिया लाइन और लहरतारा चौराहे के बीच वाहनों के आवागमन पर प्रतिबंध लगा दिया गया।
ये दुर्घटना वाराणसी कैंट रेलवे स्टेशन के पास जीटी रोड पर कमलापति त्रिपाठी इंटर कॉलेज के सामने घटित हुई है। मरने वालों की संख्या और बढ़ सकती है। पूरे शहर की यातायात व्यवस्था बुरी तरह प्रभावित हो गई है।
अस्पतालों को अलर्ट मोड पर
यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने वाराणसी के कैंट एरिया में हुए दर्दनाक हादसे पर गहरा दुख व्यक्त किया है और मदद के लिए दो मंत्रियों को रवाना किया है। घटनास्थल पर बचाव कार्य जारी है मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य व मंत्री नीलकंठ तिवारी को मदद के लिए भेजा है।
वाराणसी में एक निर्माणाधीन फ्लाईओवर के गिरने से हुए दर्दनाक हादसे पर पीएम मोदी ने दुख जताया है। उन्होंने लिखा कि मैं प्रार्थना करता हूं कि घायल जल्द ही ठीक हो जाएं। साथ ही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अधिकारियों से बात की और मदद करने के निर्देश दिए हैं।
मदद के लिए आगे आए लोग , रक्तदान की अपील
कैंट रेलवे स्टेशन पर घटी इस घटना में घायलों की मदद के लिए बड़ी संख्या में बीएचयू के हॉस्टलों में रहने वाले छात्र ट्रामा सेंटर पहुंचे और घायलों के मदद में जुट गए। राजाराम मोहन राय हॉस्टल में रहने वाले दीपक सिंह, अंकेश कुमार, सदाकांत ने चिकित्सा अधीक्षक को लिखे पत्र में जरूरत पड़ने पर रक्तदान करने को कहा है।
कुलपति पहुंचे ट्रामा सेंटर, लिया जायजा
पुल गिरने में घायल लोगों के ट्रामा सेंटर में इलाज का जायजा लेने रात करीब साढ़े आठ बजे कुलपति प्रो. राकेश भटनागर भी पहुंच गए। यहां उन्होंने सर सुंदर लाल अस्पताल के चिकित्सा अधीक्षक और ट्रामा सेंटर से जुड़े अधिकारियों को घायलों के इलाज की हर संभव बेहतर व्यवस्था करने की बात कही। इस दौरान सेंटर पहुंचे घायलों से बातचीत कर जानकारी भी ली।
मदद के लिए आगे आए सामाजिक संगठन
घायलों के मदद के लिए कई सामाजिक संगठनों के लोग आगे आए हैं। इसमें साधना फाउंडेशन, आल इंडिया रोटी बैंक ट्रस्ट के सदस्यों के साथ ही बजरंग दल सहित अन्य संगठनों के सदस्य शामिल हैं। सदस्यों ने जरूरत पड़ने पर रक्तदान के साथ ही हर संभव मदद की बात मंडलीय अस्पताल कबीरचौरा, दीनदयाल अस्पताल के अधिकारियों से कही है।