सेतु निगम ने दीपावली पर कारोबारियों का निकाला दिवाला, पढ़े पूरी खबर

दिवाली के मौके पर अच्छी दुकानदारी की उम्मीद लगाए बैठे नाका के कारोबारियों के सपनों पर पानी फिर गया। नाका हिंडोला-ऐशबाग रोड पर फ्लाइओवर के निर्माण के दौरान जमीन से चार मीटर नीचे जलापूर्ति की लाइन गुरुवार शाम फट गई। यहां सेतु निगम लैंड पाइलिंग का काम कर रहा था। पाइप लाइन के फटने से जबरदस्त तरीके से पानी सड़क पर आना शुरू हो गया।
धीरे-धीरे ये पानी दुकानों के भीतर भरने लगा। लाखों रुपये का सामान बर्बाद हो गया। कारोबारियों ने मौके पर सेतु निगम के कर्मचारियों और अभियंताओं को भगा दिया। मौके पर पहुंच कर व्यापारी नेता ने निरीक्षण किया।
आज इन इलाकों में पानी की दिक्कत
पाइप की मरम्मत चालू हो गई है और शुक्रवार सुबह मवैया, नाका, राजेंद्रनगर और गढ़ी कनौरा में पेयजल आपूर्ति प्रभावित हो सकती है।
नहीं थी पाइप लाइन की जानकारी
दूसरी ओर, सेतु निर्माण के अधिकारियों ने बताया कि जल संस्थान ने इस पाइप लाइन की जानकारी उनको नहीं दी थी। ग्राउंड लोकेटर मशीन केवल तीन मीटर नीचे तक ही पाइप को चिन्हित कर पाती है। ये लाइन चार मीटर नीचे थी। सेतु निगम ने इन पुलों का थर्ड पार्टी बीमा करवाया है। इसलिए जिन कारोबारियों का नुकसान हुआ, उसका आकलन कर के भरपाई बीमा कंपनी के जरिए करवाई जाएगी।
लापरवाही भुगत रहे कारोबारी
पिछले करीब एक साल से अव्यवस्थित तरीके से पुल निर्माण किया जा रहा है। इस कारण गुरु गोविंद सिंह रोड से लेकर नाका ऐशबाग रोड तक के कारोबारी परेशान हैं। दिवाली के मौके पर कुछ बेहतर दुकानदारी हो रही थी, लेकिन दुकानों में भरे पानी से सब चौपट हो गया।
कारोबारियों का जबरदस्त नुकसान
ऋतु गुप्ता का शिव शक्ति शॉपिंग सेंटर, अंशू अग्रवाल का रामा प्रोविजन स्टोर, अजय पिपलानी की बृजवासी बेकरी, पीयूष अवस्थी की पैसिफिक हट, अर्शी मेडिकल स्टोर में भी पानी भर गया। व्यापारियों का दावा है कि इन दुकानों में रखा काफी माल बर्बाद हो गया है। व्यापारी नेता संदीप बंसल और पवन मनोचा मौके पर पहुंच कर कहा कि गलती सेतु निगम से हुई है, दीपावाली में दिवाला निकल गया है।
क्या कहते हैं सेतु निगम चीफ प्रोजेक्ट ?
सेतु निगम चीफ प्रोजेक्ट मैनेजर संदीप गुप्ता के मुताबिक, जल संस्थान ने इस पाइप लाइन की जानकारी हमको नहीं दी थी। हमारी मशीन केवल तीन मीटर नीचे की पाइप लाइन की ही जानकारी देती है। ये लाइन चार मीटर नीचे थी। इसलिए जानकारी नहीं हो सकी। बीमा कंपनी के जरिए सभी दुकानदारों के नुकसान की भरपाई की जाएगी।
क्या कहते हैं जलकल महाप्रबंधक ?
जलकल महाप्रबंधक एसके वर्मा ने बताया कि अनुबंध के तहत सेतु निगम को भी टूटी पाइप लाइन को बनाना है। सेतु निगम को जानकारी करके ही वहां खोदाई करनी चाहिए थी, जहां पाइप लाइन गई है।