विधान परिषद तक पहुंची शिक्षामित्रों पर लाठीचार्ज की आग, हंगामा


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सभापति ने नेता विरोधी दल को समझाया, लेकिन सदस्य नहीं माने। इस पर सभापति ने 11:04 बजे सदन की बैठक 20 मिनट के लिए स्थगित कर दी, फिर इसे 12 बजे तक के लिए बढ़ा दिया।
इसके बाद सदन जैसे ही शुरू हुआ फिर सपा, बसपा व कांग्रेस सदस्य वेल में नारेबाजी करने लगे। सभापति ने सदस्यों को कई बार समझाया, लेकिन वे नहीं माने। इसके बाद सभापति ने सदन दोपहर 12:05 बजे आधे घंटे के लिए स्थगित कर दी।
परिषद की बैठक 12:35 पर फिर शुरू हुई तो शोरशराबे के बीच सभापति ने कार्यसूची की मदों का निस्तारण शुरू करवा दिया। इस पर सपा, बसपा व कांग्रेस के सभी सदस्यों ने सदन से वाकआउट किया।
सरकार ने नहीं की शिक्षामित्रों की पैरवी : सपा
विधान परिषद में नेता विरोधी दल अहमद हसन ने सदन से निकल कर कहा कि भाजपा सरकार की लचर पैरवी की वजह से शिक्षामित्रों के साथ विश्वासघात हुआ। शिक्षामित्रों के परिवार आज सड़कों पर आ गया है। शिक्षामित्रों पर लाठीचार्ज निंदनीय है। सरकार पूरे प्रदेश में दमनचक्र चला रही है।
तानाशाही की तरह काम कर रही है भाजपा : बसपा
विधान परिषद बसपा के नेता सुनील कुमार चित्तौड़ ने कहा कि भाजपा बहुमत के बल पर लोकतंत्र के मूल्यों को खत्म कर रही है। विधानसभा व विधान परिषद में जनता की बात नहीं रखने दी जा रही है। सरकार तानाशाहों की तरह काम कर रही है। विधायकों को धमकाया जा रहा है। इस तरह से आखिर लोकतंत्र कैसे जिंदा रहेगा?
सदन में रहकर नहीं सुन सकते धमकी : कांग्रेस
कांग्रेस विधान परिषद सदस्य दीपक सिंह ने वॉकआउट किए जाने के प्रश्न पर कहा, सदन में रहकर हमलोगों को धमकी सुनने का शौक नहीं है। इसलिए सदन से वाकआउट किया गया है। सदन के अंदर मुख्यमंत्री विपक्षी दलों को धमकाने के लिए आते हैं।