ढाई लाख संविदा कर्मचारियों को नए साल पर रेगुलर कर सकती है सरकार

भोपाल। प्रदेश के ढाई लाख संविदा कर्मचारियों को नए साल पर रेगुलर करने यानी संविलियन का नया तोहफा मिल सकता है। पिछले एक महीने से आंदोलन कर रहे संविदा कर्मचारियों से मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने बुधवार को बुलाकर बातचीत की। मप्र संविदा कर्मचारी अधिकारी महासंघ के बैनर तले रेगुलर करने और बहाली की मांग को लेकर ये कर्मचारी आंदोलन कर रहे थे।ढाई लाख संविदा कर्मचारियों को नए साल पर रेगुलर कर सकती है सरकार

-महासंघ द्वारा पिछले दो दिन से रोशनपुरा से सीएम हाउस तक यात्रा निकाली जा रही थी। इस अनूठी यात्रा को इन लोगों ने गांधीवादी तरीके से निकालना शुरू किया था। हाथों में फूल और श्रीराम दरबार लेकर ये कर्मचारी यात्रा पर निकले थे। पहले दिन सोमवार को इन्हें पुलिस ने रोक लिया था।

-मंगलवार को सीएम हाउस से महासंघ के प्रदेशाध्यक्ष रमेश राठौर के मोबाइल पर फोन पर बुलावा आ गया। बुधवार सुबह महासंघ का प्रतिनिधि मंडल सीएम हाउस पहुंचा था, बातचीत में सीएम को पदाधिकारियों ने जीएडी द्वारा चार साल पहले बनाई गई नीति बताई। इसके अलावा विभिन्न परियोजनाओं और विभागों से निकाले गए कर्मचारियों को बहाल करने की बात की। प्रतिनिधि मंडल में महामंत्री रमेश सिंह, देवेंद्र उपाध्याय, राहुल शिवहरे समेत कई पदाधिकारी शामिल थे।

दिल्ली के सीएम केजरीवाल आए थे धरने में…

बीती पांच नवंबर को महासंघ ने आंबेडकर मैदान में धरना दिया था। इसमें प्रदेश भर से आए संविदा कर्मचारी शामिल हुए थे। दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल और आम आदमी पार्टी के प्रदेश संयोजक आलोक अग्रवाल भी धरने में पहुंचे थे। केजरीवाल ने सभा को संबोधित करते हुए राज्य सरकार को चुनौती दी थी।

ये तर्क भी दिए सीएम को…

– विभागों में खाली पड़े पदों पर संविलियन कर रेगुलर कर दिया जाए
– इससे सरकार पर बजट का अतिरिक्त भार नहीं आएगा
– कई विभागों में कई कर्मचारियों को रेगुलर कर दिया गया है

इन बिंदुओं पर तैयारी कर सकती है सरकार…

– जिन विभागों में विभिन्न कैडर के पद खाली हैं। उन पर इन कर्मचारियों का संविलियन किया जा सकता है।
– जीएडी द्वारा बनाई गई नीति के मसौदे में बदलाव करके नया मसौदा तैयार कराया जा सकता है।
– हरियाणा, दिल्ली समेत अन्य राज्यों की तरह सुप्रीम कोर्ट के समान काम समान वेतन के आदेश पर अमल कर इनका वेतन बढ़ाया जा सकता है।

क्या था जीएडी के चार साल पुराने नियमों में…

तत्कालीन मुख्य सचिव आर परशुराम ने 2013 कुछ अपर मुख्य सचिवों और आठ प्रमुख सचिवों की एक कमेटी बनाई थी। जो संविदा कर्मचारी जिस विभाग या परियोजना, निगम- मंडल में काम कर रहे हैं, उन्हें रेगुलर कर दिया जाए।

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किस प्रमुख विभाग व प्रोजेक्ट में कितने संविदा कर्मचारी

-पंचायत एवं ग्रामीण विकास- 35 हजार
-राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन- 18140
-ऊर्जा विभाग यानी बिजली कंपनियों में- 9103
-राज्य शिक्षा केंद्र – 2541
-निगम- मंडलों में – 9998

 

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