रावण का महल कहां है और अब कैसा दिखता है? दशहरा पर जानिए स्वर्ण लंका का रहस्य

श्रीलंका की यात्रा करके आप न केवल रामायण से जुड़ी इन जगहों को देख सकते हैं, बल्कि इतिहास, संस्कृति और प्राकृतिक सुंदरता का आनंद भी उठा सकते हैं।

रामायण में वर्णन है कि रावण स्वर्ण लंका का राजा था, जिसका महल सोने से बना हुआ था। यह प्रश्न हर किसी के मन में आता है कि रावण का असली महल कहां था और आज वह कैसा दिखता है। मान्यताओं के अनुसार रावण की लंका आज के श्रीलंका (Sri Lanka) में स्थित थी।

दशहरा और विजयादशमी के अवसर पर जब हम रावण दहन करते हैं, तो रावण की सोने की लंका की भव्यता और उसके महल की रहस्यमयी कहानियां मन को आकर्षित करती हैं। अगर आप रावण के महल को देखने की इच्छा रखते हैं तो श्रीलंका की यात्रा पर जाएं। लेकिन श्रीलंका में रावण का महल कहां स्थित है, भारत से रावण के महल की यात्रा से जुड़ी संपूर्ण जानकारी यहां मिल जाएगी। श्रीलंका की यात्रा करके आप न केवल रामायण से जुड़ी इन जगहों को देख सकते हैं, बल्कि इतिहास, संस्कृति और प्राकृतिक सुंदरता का आनंद भी उठा सकते हैं।

रावण के महल और लंका का इतिहास
पुराणों और रामायण में लंका को ‘स्वर्ण नगरी’ कहा गया है। रावण का महल सोने और कीमती रत्नों से सुसज्जित था। मान्यताओं के अनुसार, यह महल त्रिकूट पर्वत पर बना था। लंका में आज भी कई जगहें हैं, जिन्हें रावण और रामायण से जोड़ा जाता है।

श्रीलंका में कहां खोजें रावण की लंका?
कई मान्यताओं के अनुसार रावण का किला त्रिकुट पर्वत पर स्थित था। श्रीलंका में यह स्थान सिगिरिया राॅक किला के नाम से मशहूर है। यह एक प्राचीन एवं पौराणिक किला है, जहां पर कई पुरानी कलाकृतियों और प्राचीन सभ्यता देखने को मिलती है। बताया जाता है कि सिगिरिया कभी रावण की लंका हुआ करती थी। लोगों का मानना है कि यहां पर स्थित एक चट्टान पर रावण का महल था। सिगरिया रॉक चट्टान की चोटी पर एक प्राचीन महल का अवशेष है। यह सीढ़ीदार बगीचे, तालाब, नहर, फव्वारों से घिरा हुआ है। बताया जाता है कि महल के पास रावण के पुष्पक विमान के लिए एक खास हवाई पट्टी थी।

रावण से जुड़े अन्य स्थान
नुवारा एलिया जिसे सीता एलिया भी कहते हैं। यही अशोक वाटिका है, जहां माता सीता को रखा गया था और हनुमान जी मां सीता से इसी स्थान पर मिलने आए थे।

श्रीलंका का केलनिया मंदिर भी रामायण कथा से जुड़ा है। मान्यता है कि यहीं पर विभीषण का राज्याभिषेक हुआ था।

एला में ‘रावण की गुफा’ और झरना (Ravana Falls) देखने लायक जगह है। त्रिंकोमाली रावणेश्वरम मंदिर को रावण से जोड़ा जाता है।

भारत से श्रीलंका कैसे पहुंचें?
अगर आप रावण और राम जुड़े प्रमाणों को देखने श्रीलंका जाना चाहते हैं तो चेन्नई, बेंगलुरु, तिरुवनंतपुरम और दिल्ली से कोलंबो के लिए सीधी उड़ानें मिलती हैं। हवाई मार्ग के अलावा समुद्री मार्ग से भी श्रीलंका पहुंचा जा सकता है। तमिलनाडु के रामेश्वरम से मन्नार द्वीप होते हुए श्रीलंका की यात्रा की जा सकता है। हालांकि श्रीलंका यात्रा के लिए भारतीय नागरिकों को वीजा चाहिए होता है, जो ऑनलाइन ETA (Electronic Travel Authorization) लेना होता है। आईआरसीटीसी समय-समय पर ऐसे टूर पैकेज लाता है, जिसमें आप विदेश में स्थित भारतीय आस्था से जुड़े स्थलों की सैर कर सकते हैं।

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